Anxiety Attack Relief: हॉरर मूवी (Horror Movies) देखना कई लोगों को काफी ज्यादा पसंद होता है. यह सिर्फ मनोरंजन का जरिया नहीं है, बल्कि चिंता ग्रस्त लोगों के लिए यह काफी ज्यादा फायदेमंद होता है. एक स्टडी में सामने आया है कि एंजायटी से जूझ रहे लोगों को हॉरर फिल्में देखने से उनकी चिंता के लक्षणों से निपटने में मदद मिलती है.
हॉरर सिनेमा देखने से मेंटल हेल्थ पर असर
हालांकि, ऐसा पहली बार नहीं हुआ है इससे पहले भी इस तरह की रिसर्च सामने आ चुकी है. हालांकि कई स्टडी का कहना है कि कुछ और शोध की फिलहाल जरूरत है. क्योंकि जो लोग तनाव से गुजर रहे हैं, उन्हें हॉरर फिल्में देखने से कैसे राहत मिल सकती है. कुछ रिसर्च के मुताबिक, हॉरर सिनेमा देखने से मेंटल हेल्थ पर काफी ज्यादा बुरा असर पड़ता है. इससे ब्लड प्रेशर बढ़ जाता है.
नई स्टडी में हुआ बड़ा खुलासा
हॉरर फिल्मों में साइकोलॉजिकल ट्रिक्स दिमाग को भ्रमित करने का काम करते हैं. हालांकि, सभी को मालूम होता है कि जो वह देख रहे हैं, वह बिल्कुल भी सच नहीं है. लेकिन, नई स्टडी में सामने आया है कि चिंताग्रस्त लोगों को हॉरर फिल्में देखना काफी पसंद है.
क्या कहती है स्टडी?
डेनमार्क के आरहूस यूनिवर्सिटी में रिक्रिएशन फियर लैब के सह संस्थापक मैथियास क्लासेन ने हाल ही में एक शोध का नेतृत्व किया है. इस शोध के मुताबिक, डरावनी फिल्म देखना वयस्कों में ज्यादा लचीलापन पैदा करता है. यह बचपन में होने वाली एंजायटी के खतरे को कम कर देता है. इससे पहले कई रिसर्च में सामने आ चुका है कि डरावनी फिल्में मन को शांत करने में मदद करती है.
रिसर्च में किया गया बड़ा दावा
एक्सपर्ट्स का मानना है कि डरावनी और भूतों वाली फिल्में देखने से लोग को तनाव और चिंता कम होती है. डरावनी फिल्मों से लोगों में उत्साह भी देखने को मिलता है. यह एक तरह की इमोशनल एक्सरसाइज है, जो मन को संतुष्टि का एहसास कराती है.
एंजायटी में बेहद असरदार?
एक्सपर्ट्स के मुताबिक, डरावनी फिल्में देखने से व्यक्ति की चिंता से उसका ध्यान भटक जाता है. दरअसल, हॉरर फिल्में सस्पेंस बढ़ा देती हैं. ऐसे में आपके दिमाग में ध्यान केंद्रित करने के लिए ज्यादा जगह नहीं होती है. जिसके कारण डरावनी चीज पर कंट्रोल का करने का एहसास व्यक्ति को और भी ज्यादा मजबूत बना देता है.