India News (इंडिया न्यूज), Ambikapur Vidhan Sabha Seat: छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव में महज कुछ दिनों का समय बचा है। सारी पार्टी इस वक्त जनता को भरोसा जीतने में लगी है। जिसके लिए कई तरह की घोषणाएं और वादे किए जा रहे हैं। ऐसे में हमें हमारे विधानसभा के राजनीतिक इतिहास के बारे में पता होना चाहिए। आज हम अंबिकापुर विधानसभा सीट के इतिहास के बारे में बात करेंगे।
अंबिकापुर सीट प्रदेश की हाई प्रोफाइल सीटों में शामिल है। यह सीट सरगुजा जिले के तहत आता है। जहां से पिछले चुनाव में उपमुख्यमंत्री टीएस सिंह देव को जीत मिली थी। कांग्रेस की ओर से एक बार फिर से टीएस सिंह देव को मैदान में उतारा गया है। जबकि बीजेपी की ओर से राजेश अग्रवाल मैदान में खड़े किए गए हैं। पिछले विधानसभा चुनाव (2018) में इस सीट पर 22 उम्मीदवारों ने अपनी चुनौती पेश की थी। जिसमें टीएस सिंह देव और बीजेपी के अनुराग सिंह देव के बीच मुकाबला देखने को मिला था। इस चुनाव में टीएस सिंह देव के खाते में 100,439 वोट तो वहीं अनुराग सिंह को 60,815 वोट मिले थें।
यहां कि इतिहास की बात करें तो 2008 में परिसीमन के बाद यह सीट अनारक्षित घोषित कर दी गई। 2008 चुनाव में टीएस सिंहदेव को जीत के लिए काफी संघर्ष करना पड़ा था। उस समय उन्होंने बीजेपी के अनुराग सिंहदेव से केवल 980 वोटों के अंतर से जीत हासिल किया था। 2013 के चुनाव में अनुराग सिंह देव को 19,598 वोटों से हार मिली थी। जिसके बाद 2018 में भी कांग्रेस को जीत मिली। जिसके साथ कांग्रेस ने जीत की हैट्रिक लगाई। वहीं 2003 में बीजेपी के कमल भान सिंह को इस सीट से जीत मिली थी। इस चुनाव में अंबिकापुर सीट पर कड़ा मुकाबला देखने को मिल सकता है। बीजेपी ने इस बार अनुराग सिंह देव का टिकट काटकर राजेश अग्रवाल को मैदान में उतारा है।
Also Read:
Get Current Updates on News India, India News, News India sports, News India Health along with News India Entertainment, India Lok Sabha Election and Headlines from India and around the world.