संबंधित खबरें
UP By-Election Results 2024 live: यूपी में 9 सीटों पर उपचुनाव की वोटिंग जारी, नसीम सोलंकी की जीत तय
Bihar Bypolls Result 2024 Live: बिहार की 4 सीटों पर मतगणना शुरू! सुरक्षा पर प्रशासन की कड़ी निगरानी
Maharashtra-Jharkhand Election Result Live: महाराष्ट्र में महायुति के आंधी में उड़ा MVA, झारखंड में आया JMM गठबंधन का तूफान
मातम में बदलीं खुशियां, नाचते- नाचते ऐसा क्या हुआ शादी से पहले उठी…
नाइजीरिया में क्यों पीएम मोदी को दी गई 'चाबी'? क्या है इसका महत्व, तस्वीरें हो रही वायरल
Stray Dogs: बिलासपुर में आंवारा कुत्तों का आतंक, लॉ छात्रा पर किया हमला
इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
पंजाब सीमावर्ती राज्य है। पाकिस्तान के साथ सीमा लगने के कारण ये काफी संवेदनशील भी है। हर साल लगभग 1.20 करोड़ टन चावल और पौने दो करोड़ टन गेहूं पैदा करने वाला ये भारत का सबसे उपजाऊ राज्यों में से एक भी है। लेकिन पिछले कुछ समय से पंजाब में गन कल्चर तेजी से बढ़ा है।
खासकर अब सिद्धू मूसेवाला की दिनदिहाड़ी आटोमेटिक हथियारों से हत्या के बाद, पंजाब मतें गन कल्चर और गैंगस्टरवाद पर सवाल उठने लगे हैं। राज्यों के कई सिंगर तो अपने गीतों में अक्सर महंगी बंदूकों के साथ दिखते ही हैं, लेकिन आम लोगों को भी बंदूकें रखने का खासा शौंक हैं। इसी कारण यहां एक बार फिर से गैंगवार पर चर्चा छिड़ गई है।
पंजाब में गन कल्चर को लेकर हैरान करने वाले आंकड़े भी सामने आए हैं। इसके मुताबिक पंजाब में पुलिस से ज्यादा हथियार जनता के पास है। इतना ही नहीं, इन लोगों के पास अत्याधुनिक हथियारों की भरमार है। एक रिपोर्ट के मुताबिक पंजाब की पुलिस के पास 1,25,000 हथियार हैं। जबकि सवा 4 लाख लोगों के पास लाइसेंसी हथियार हैं। ये भी कोई मामूली हथियार नहीं है बल्कि अत्याधुनिक और विदेशी हथियार हैं। ये भी वो लाइसेंस हथिार हैं जो रजिस्टर्ड हैं। इनके अलावा पंजाब में देसी कट्टे पकड़े जाने की भी खबरें लगभग आती रहती हैं। इनका तो कोई रिकार्ड ही नहीं है।
आंकड़ों पर नजर डाले तो पंजाब में देश की 10 प्रतिशत लाइसेंस हथियार रजिस्टर्ड है जबकि पंजाब की आबादी देश की लगभग 2 प्रतिशत ही है। पंजाब में प्रति 1,000 लोगों पर 13 बंदूक लाइसेंस हैं। जनवरी 2022 तक पंजाब में 390,275 से अधिक लाइसेंसी हथियार हैं। ठउफइ की रिपोर्ट के मुताबिक केवल 2020 में 830 से अधिक बिना लाइसेंस वाले हथियार जब्त किए गए थे।
अब जब हथियार पास होंगे तो जाहिर सी बात है कि कभी न कभी वो चलेंगे भी। कभी बड़ी वजह तो कभी छोटी छोटी वजहों के कारण ही इन घातक हथियारों का इस्तेमाल हो जाता है। यहीं से शुरू होती है गैंगवार और एक गैंगवार शुरू होती है तो खत्म होने का नाम नहीं लेती है। अब तो पंजाब में फिल्मी स्टाइल में गैंगवार होना आम हो गया है। पहले एक गैंग के आदमी को मारा जाता है, फिर उस गैंग के गुर्गे बदला लेने के लिए दूसरी गैंग के आदमी को मारते हैं। और इस तरह ये आगे से आगे बढ़ती जाती है।
ताजा घटनाक्रम भी कुछ ऐसा ही है। सिद्धू मूसेवाला की हत्या की जिम्मेदारी लारेंस बिश्नोई और गोल्डी बराड़ ने ली है। बाकायदा लॉरेंस बिश्नोई ने कहा है कि सिद्धू मूसेवाला की हत्या विक्रम सिंह उर्फ विक्की मिद्दुखेड़ा की हत्या का बदला लेने के लिए की है। बिश्नोई गैंग का करीबी माने जाने वाला मिद्दुखेड़ा यूथ अकाली दल का नेता था जिसकी हत्या पिछले साल 8 अगस्त में मोहाली में दिनदहाड़े की गई थी। इस हत्या के पीछे सिद्धू मूसेवाला के मैनेजर शगन प्रीत सिंह का नाम सामने आया था जो आस्ट्रेलिया भाग गया।
वहीं अब मूसेवाला की हत्या के बाद दविंदर बंबीहा ग्रुप ने सोशल मीडिया पर मूसेवाला की हत्या का बदला लेने की बात कही है। बंबीहा ग्रुप ने कहा है कि मूसेवाला का उनकी गैंग से कोई संबंध नहीं था लेकिन ग्रुप से जोड़ा गया तो बदला लेकर ही रहेंगे।
पंजाब में आज कई गैंगस्टर्स अपनी गैंग चला रहे हैं। इनमें से हम आपको कुछ मुख्य गैंग्स के बारे में बता रहे हैं
पंजाब में गैंगवार बढ़ने का मुख्य कारण फैन फॉलोविंग भी माना जाता है। दरअसल, यहां पर हर गैंगस्टर सोशल मीडिया से जुड़ा हुआ है। इनके कई सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर पेज हैं, जिसे ये जेल से भी हैंडल कर लेते हैं। इन्हें बड़ी संख्या में युवा फॉलो करते हैं जोकि राज्य के लिए चिंता का विषय है।
ये भी पढ़ें : आखिर क्यों मनाया जाता है ”विश्व दूध दिवस”, जानिए इसकी रोचक कहानी
ये भी पढ़ें : जानिए किस कानून के तहत दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन हुए गिरफ्तार
ये भी पढ़ें : किसान के बेटे ने पाया मुकाम, यूपीएससी में आया नाम
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.