India News (इंडिया न्यूज़), Navratri 2023: नवरात्रि के पहले दिन घट/कलश स्थापना के दौरान कलश के ऊपर नारियल रखने की मान्यता है। वहीं, बहुत से घरों में जहां कलश स्थापना नहीं होता, वहां भगवती की प्रतिमा या तस्वीर के पास नौ दिनों तक नारियल रखा जाता है। लेकिन कईं लोग ये नहीं जानते कि नवरात्रि के बाद कलश के ऊपर रखे नारियल या प्रतिमा के पास रखे नारियल का क्या करना चाहिए? मान्यता है कि अगर इस नारियल का सही तरीके से विधान नहीं किया गया तो माता रानी नाराज हो सकती हैं। साथ ही आप की 9 दिन की पूजा के संपूर्ण फल में भी दिक्कत भी आ सकती है।
पं. आचार्य अविनाश मिश्रा ने इस बारे में बात करते हुए कहा, “हम सभी जानते हैं कि नवरात्रि की शुरुआत घटस्थापना से होती है। नवरात्रि में कलश स्थापना और मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है। कलश स्थापना के दौरान उसके ऊपर नारियल रखना जरूरी होता है। कलश स्थापना जितने विधि-विधान से हम करते हैं, वैसे ही कलश हटाते समय हमें कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए।”
वहीं, घट स्थापना के दौरान कलश के नीचे अक्षत (चावल) भी रखा जाता है। नवरात्रि के आखिरी दिन कलश हटाने के बाद चावल को घर के हर कोने में छिड़कना चाहिए। हिंदू धर्म में चावल सुख-समृद्धि का प्रतीक माना जाता है। मान्यता है कि कलश के नीचे रखे चावल को घर में छिड़कने से कभी धन की तंगी का सामना नहीं करना पड़ता है। इसके साथ ही घर में सुख-समृद्धि और खुशहाली आती है।
कलाश हटाने के बाद उसके जल को घर में सभी जगह छिड़कना चाहिए। सदस्यों पर भी जल छिड़कना चाहिए। अगर व्यापारी हैं तो व्यापार स्थान पर उस जल का छिड़काव करें। इससे सुख-समृद्धि बनी रहेगी। इसके अलावा हमें नवरात्रि समाप्त होने के बाद पूजा-पाठ की सामग्री को नदी में प्रवाहित कर सकते हैं। माना जाता है कि ऐसा करने से किसी भी प्रकार का दोष नहीं लगता है और पूजा का संपूर्ण फल हमें प्राप्त होता है।
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