India News (इंडिया न्यूज़), Manu Sharma, Jaipur : राज्य सरकार द्वारा छात्र संघ चुनाव पर रोक लगाए जाने का विरोध दिन प्रतिदिन तेज होता जा रहा है। गुस्साए छात्र लगातार अलग अलग तरीके से विरोध जता रहे हैं और छात्रों का आंदोलन उग्र रूप लेता जा रहा है। कभी छात्र पेट्रोल की बोतल लेकर कुलपति सचिवालय में घुसते हैं, तो कभी पानी की टंकी पर चढ़ते हैं। मगर प्रदर्शन अलग-अलग तरीके से लगातार जारी है।

गुरुवार को भी यूनिवर्सिटी कैंपस में प्रदर्शनकारी छात्रों ने उच्च शिक्षा मंत्री राजेंद्र यादव के पुतले की शव यात्रा निकाल पुतला फूंका और यूनिवर्सिटी मेन गेट बंद करने की कोशिश की तब पुलिस प्रशासन द्वारा उन्हें रोका गया, तो छात्रों और पुलिस के बीच में झड़प हो गई। जिसके चलते तीन छात्र चोटिल हुए तो वही कुछ को हिरासत में ले लिया गया।

छात्र संघ चुनाव हमारा हक अंतिम सांस तक करेंगे संघर्ष

प्रदर्शनकारी छात्रों का कहना है कि पिछले 5 दिन से हम लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। हम में से कुछ लोग भूख हड़ताल पर भी बैठे हैं जिसके कारण 12 से ज्यादा छात्र नेताओं की तबीयत तक बिगड़ गई है। लेकिन सरकार का कोई भी नुमाइंदा हमसे बात करने तक नहीं पहुंचा। जब किसी छात्र की तबीयत खराब होती है, तो हमें चेक करने के लिए कोई मेडिकल टीम भी नहीं आ रही है।

हम लगातार पुलिस प्रशासन से यह आग्रह कर रहे हैं की, मेडिकल टीम बुलाकर हमारे तबीयत खराब हुए साथियो की जांच करवा दीजिए, मगर हमारी कोई सुनवाई नहीं की जा रही है। आखिर ऐसा क्यों किया जा रहा है क्या हमें मरने के लिए छोड़ दिया गया है। हम अपने हक की लड़ाई लड़ रहे हैं। छात्र संघ चुनाव हमारा हक है और हम अंतिम सांस तक इसकी लड़ाई लड़ते रहेंगे।

अर्धनग्न होकर किया प्रदर्शन

प्रदर्शनकारी छात्रों का यह कहना है कि हम गांधीवादी तरीके से अपना प्रदर्शन कर रहे हैं। मगर पुलिस प्रशासन हमें लगातार परेशान कर रहा है। हम यूनिवर्सिटी के एक उद्यान में शांतिपूर्ण तरीके से बैठे हैं। मगर वहां से हमे ओर पीछे हटाने की कोशिश की जा रही है। किसी भी तरीके से हम हमारा प्रदर्शन दर्ज कराने की कोशिश करते हैं, तो हमें पुलिस की लाठियों का डर दिखाया जाता है।

इसीलिए जब हम आज विश्वविद्यालय मुख्य द्वार पर अपना प्रदर्शन दर्ज करवा रहे हैं। तो पहले से ही अर्धनग्न हो गए हैं कि, हम किसी लाठी-डंडों से डरने वाले नहीं है। हम अपने हक की लड़ाई लड़ रहे हैं और यह प्रदर्शन लगातार जारी रहेगा फिर चाहे पुलिस की लाठियां चले या हमें हिरासत में ले लिया जाए।

किसी ने छिड़का पेट्रोल कोई चढ़ा पानी की टंकी पर

छात्र संघ चुनाव ना कराने के आदेश जब जारी किए तब ही से छात्र नेता प्रदर्शन की राह पर है। यह प्रदर्शनकारी छात्र अलग अलग तरीके से प्रदर्शन कर रहे हैं। कोई पेट्रोल लेकर कुलपति सचिवालय में घुसता है, तो कोई खुद पर ही पेट्रोल छिड़क लेता है। अब तक 12 से ज्यादा छात्र खुद पर पेट्रोल छिड़क चुके हैं। उनका यह कहना है कि अगर जल्द से जल्द उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाता तो वह सामूहिक आत्मदाह कर लेंगे और इसके लिए खुद सरकार जिम्मेदार होगी।

तो वही मंगलवार रात 8:00 बजे राजस्थान यूनिवर्सिटी में आरएलपी के दो छात्र नेता यानी कमल चौधरी और विनोद भदौली पेट्रोल की बोतल लेकर पानी की टंकी पर चढ़ गए थे और छात्र संघ चुनाव कराने की मांग कर रहे थे। बाद में  में समझाइश और सरकार के नुमाइंदों से जल्द मुलाकात कराने के आश्वासन के बाद देर रात 1:30 बजे उन्हें नीचे उतारा गया।

सरकार के फैसले पर छात्रों का भारी आक्रोश

छात्र संघ चुनाव मामले में सरकार के द्वारा लिए गए फैसले को लेकर छात्रों में भारी आक्रोश देखने को मिल रहा है। छात्र नेताओं का यह कहना है कि, कई सालों से एक छात्र चुनाव के लिए तैयारी करता है। संघर्ष करता है और फिर इस तरीके के फरमान जारी कर दिए जाते हैं।

आने वाले समय में विधानसभा चुनाव भी आने वाले है। कहीं ऐसा ना हो की सरकार को अपने इस फैसले का आगामी विधानसभा चुनाव में खामियाजा उठाना पड़े। आज राज्य में ऐसे कई मंत्री विधायक है जिनकी राजनीति की शुरुआत छात्र संघ चुनाव से ही हुई है। मुख्यमंत्री गहलोत खुद छात्र संघ चुनाव लड़ चुके हैं और आज इस तरीके के आदेश जारी किए हैं। जो कतेही ही गलत है छात्र संघ चुनाव हमारा हक है अगर चुनाव नहीं कराए गए तो आने वाले समय में युवा अपना जवाब देंगे।

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