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इंडिया न्यूज, IPL Media Rights Auction : देश दुनिया की कंपनियां इस समय सबसे ज्यादा आईपीएल यानी इंडियन प्रीमियर लीग के ऑनलाइन मीडिया अधिकारों को पाने के लिए दौड़ में शामिल हैं। इसमें अमेजॉन, डिज्नी, रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड का नाम सामने आया है।
भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई ) सोनी स्पोर्ट्स नेटवर्क, वैश्विक दिग्गज डिज्नी स्टार नेटवर्क, रिलायंस-वायाकॉम 18 और अमेजॉन जैसे कई नेटवर्क के साथ प्रसारण और स्ट्रीमिंग अधिकार सौदे से 2023-27 के बीच तीन गुना लाभ की उम्मीद कर रहा है। जो चलिए समझते हैं इंडियन प्रीमियर लीग से मीडिया राइट्स से बीसीसीआई को कैसे होगा करोड़ों का लाभ, साथ ही कौन सी कंपनियां होंगी दौड़ में शामिल, कब होगी आईपीएल राइट्स की नीलामी।
आईपीएल ने पहली बार ई-नीलामी के जरिए बोली लगाने का फैसला किया है। यह नीलामी 12 जून को मुंबई में सुबह 11 बजे से शुरू होने जा रही है और बिड्स खत्म होने तक यह आॅक्शन जारी रहेगा। खरीदे गए राइट्स आईपीएल के 5 सीजन (2023 से 2027) के लिए मान्य होंगे। आईपीएल मीडिया राइट्स के लिए इस बार 50 से 60 हजार करोड़ रुपये तक की बोली लग सकती है।
बता दें सबसे महंगे ब्रॉडकास्टिंग राइट्स के लिहाज से दुनिया की अन्य स्पोर्ट्स लीग की तुलना में आईपीएल दुनिया में चौथे नंबर पर है। इस मामले में अमेरिका की नेशनल फुटबॉल लीग यानी एनएफएल पहले, इंग्लैंड का प्रीमियर लीग फुटबॉल यानी ईपीएल दूसरे, मेजर लीग बेसबॉल यानी एमएलबी तीसरे, आईपीएल चौथे, जर्मनी की फुटबॉल लीग बुंडेसलीगा 5वें और अमेरिका की नेशनल बास्केटबॉल एसोसिएशन यानी एनबीए छठे स्थान पर है।
अब इनमें खासियत ये है कि ये है सबसे महंगे ब्रॉडकास्टिंग राइट्स के मामले में टॉप पर मौजूद एनएफएल में 32 टीमें हैं और हर सीजन में 256 मैच खेले जाते हैं, जबकि अभी तक आईपीएल में केवल 8 टीमें थीं और हर सीजन में 60 मैच ही खेले जाते थे।
ब्रॉडकास्टिंग राइट्स को अक्सर मीडिया राइट्स कहते हैं। इसका मतलब है कि कोई कंपनी किसी स्पोर्ट्स लीग को चलाने वाली संस्था से उसके मैचों को दिखाने का अधिकार एक तय पीरियड और तय रकम में खरीदती है। उदाहरण के तौर पर समझें, पिछले 5 सालों से आईपीएल के मैच केवल स्टार स्पोर्ट्स के चैनल और उसके डिजिटल प्लेटफॉर्म हॉटस्टार पर ही दिखाए जाते थे। बता दें ऐसा इसलिए किया जाता था कि स्टार ने 5 सालों के लिए इन राइट्स को बीसीसीआई से 16347 करोड़ रुपए में खरीदा है।
सूत्रों के मुताबिक डिज्नी-स्टार ब्रॉडकास्टिंग राइट्स को बचाए रखने के लिए आक्रामक बोली लगा सकता है। कंपनी के डिजिटल प्लेटफॉर्म हॉटस्टार की कुल कमाई में से 30 फीसदी भारत से होती है। इसमें भी आईपीएल अहम फैक्टर है। वहीं अमेजन और नेटफ्लिक्स की कुल कमाई का सिर्फ 5 से 10 फीसदी भाग भारत से आता है।
वहीं भारतीय ग्रुप रिलायंस और वॉयकॉम 18 बोधी ट्री के साथ डिजिटल राइट्स के लिए बोली लगाएगा। बोधी ट्री ने वॉयकॉम में 13 हजार करोड़ रुपए के निवेश का वादा किया है। बोधी ट्री एक इंवेस्टमेंट प्लेटफॉर्म है जिसमें मीडिया टायकून जेम्स मर्डोक के लुपा सिस्टम्स और स्टार इंडिया के पूर्व सीईओ उदय शंकर की हिस्सेदारी है।
5 साल पहले उदय शंकर ने अपनी पुरानी कंपनी के लिए बेस प्राइस से 4 गुना ज्यादा पैसे में आईपीएल मीडिया राइट्स हासिल कर पूरे सिनैरियों को बदल दिया था। हालांकि इस बार उदय शंकर विरोधी खेमे की कंपनी में हैं। रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन और एमडी मुकेश अंबानी ने बोधी ट्री के साथ करार के बाद कहा था कि मर्डोक और उदय शंकर का ट्रैक रिकॉर्ड बेजोड़ है।
40 करोड़ से ज्यादा कस्टमर के साथ रिलायंस की जियो देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी है। वहीं बेजोस का अमेजन दुनिया की सबसे लोकप्रिय फुटबॉल लीग इंग्लिश प्रीमियर लीग आईपीएल का लाइवस्ट्रीम करता है। ऐसे में वह आईपीएल के डिजिटल राइट्स के लिए अपना पूरा जोर लगाएगा। इससे उसे अपने ग्लोबल राइवल नेटफ्लिक्स पर बढ़त बनाने में सफलता मिलेगी।
आईपीएल में बीसीसीआई और टीमों के लिए कमाई का सबसे बड़ा जरिया मीडिया राइट्स है। आईपीएल की कुल कमाई में से करीब 70 फीसदी हिस्सा इसी से आता है। बीसीसीआई की शुरुआत 2008 में हुई थी। इसके पहले मीडिया राइट्स सोनी ने 2017 तक, यानी 10 सीजन के लिए खरीदे थे। इसके लिए सोनी ने 8,200 करोड़ रुपए खर्च किए थे।
2018 में ये राइट्स फिर बिके और बीसीसीआई को इसके लिए लगभग दोगुनी कीमत मिली। स्टार स्पोर्ट्स ने 2018-2023, यानी पांच साल के लिए आईपीएल ब्रॉडकास्टिंग राइट्स को 16,347 करोड़ रुपए में खरीदा। अब 2023 से 2027 यानी 5 सालों के लिए फिर से आईपीएल ब्रॉडकास्टिंग राइट्स बिकने हैं।
पांच साल पहले स्टार ने वर्ष 2018-2022 के लिए आईपीएल मीडिया राइट्स को 16,347 करोड़ रुपए में हासिल किया था। इस बार बीसीसीआई ने बेस प्राइस 32,890 करोड़ रुपए रखा है। बीसीसीआई अधिकारियों के मुताबिक इस बार सबसे बड़ी बोली के 45 हजार करोड़ से भी ऊपर जाने की उम्मीद है। वहीं ब्रोकरेज फर्म एलारा सिक्योरिटीज का मानना है कि इस बार 50 से 60 हजार करोड़ रुपए तक की बोली लग सकती है।
बीसीसीआई भले ही आईपीएल से मोटी कमाई करता हो, लेकिन इस पर उसे टैक्स नहीं देना पड़ता है। दरअसल आईपीएल के जरिए देश में क्रिकेट का प्रचार करने के लिए बीसीसीआई को इनकम टैक्स के सेक्शन 12ए के तहत आईपीएल की कमाई पर टैक्स देने पर छूट मिली हुई है।
2016-17 में रेवेन्यू डिपार्टमेंट ने इनकम टैक्स अपीलेट ट्राइब्यूनल यानी आईटीएटी में बीसीसीआई को आईपीएल पर मिलने वाली टैक्स छूट को खत्म करने की अपील की थी, लेकिन नवंबर 2021 में आईटीएटी ने ये अपील खारिज करते हुए बीसीसीआई के पक्ष में फैसला सुनाया था।
आईपीएल के 2023-2027 के मीडिया राइट्स के लिए डिज्नी-स्टार, सोनी, जी, वॉयकॉम18/रिलायंस, गूगल, अमेजन, एपल, ड्रीम 11, स्काई स्पोर्ट्स यूके और सुपरस्पोर्ट एसए ने नीलामी के लिए इनविटेशन टु टेंडर यानी आईटीटी को ही खरीद लिया है। हालांकि, इनमें से कुछ ने बेस प्राइस में ज्यादा बढ़ौतरी पर अपनी नाराजगी भी जताई है।
सोनी पिक्चर्स नेटवर्क्स इंडिया के एमडी और सीईओ एनपी सिंह ने हाल में बेस प्राइस को बहुत ज्यादा बताया था। उन्होंने कहा था कि इसकी बेस प्राइस का और मूल्यांकन होना चाहिए। क्योंकि आईपीएल 2022 के टीवी व्यूअरशिप में 34 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई थी।
बीसीसीआई अधिकारी अनुसार आईपीएल एक प्रोडक्ट के रूप में बेजोड़ है। इसके जैसा कोई और कंटेंट नहीं है जो ग्राहक को इतना आकर्षित कर सके। चेन्नई सुपर किंग्स के सीईओ काशी विश्वनाथन भी इससे सहमत हैं। उनका कहना है कि इस साल शायद सिर्फ कुछ जगहों पर ही आईपीएल हुए थे।
इससे दर्शकों की संख्या में गिरावट आई, लेकिन अगर आप बाकी क्रिकेट लीग से तुलना करें तो हर कोई जानता है कि यह दुनिया की बेस्ट टी-20 लीग है। यही कारण है कि इसके मीडिया राइट्स की इतनी जरूरत है। इसकी एक वजह और भी है। दरअसल आईपीएल में अब तक हर सीजन में 60 मैच खेले जाते थे। 2022 में 8 से बढ़कर 10 टीमें होने के बाद मैचों की संख्या बढ़कर 74 हो गई है। मैच बढ़ने का मतलब है कि इसे दिखाने वाले यानी ब्रॉडकास्टर की कमाई भी बढ़ेगी।
बीसीसीआई इस बार आईपीएल मीडिया राइट्स को चार अलग पैकेज या बंडल में बेच सकता है, जिसमें टेलीविजन और डिजिटल राइट्स अलग-अलग रखे जाएंगे। अब तक एक ही कंपनी को ये सारे राइट्स मिलते थे। इसके तहत पैकेज ए में टेलीविजन राइट्स, पैकेज बी में डिजिटल राइट्स, पैकेज सी में नॉन-एक्सक्लूसिव स्पेशल कैटेगरी (18 मैचों का बंडल) और पैकेज डी में बाकी दुनिया के लिए ब्रॉडकास्टिंग राइट्स शामिल होंगे।
साथ ही इस बार ओटीटी प्लेटफॉर्म पर कई ब्रॉडकास्टर को कंसोर्टियम बनाकर एक साथ बोली लगाने की अनुमति नहीं दी जाएगी। यानी हाल ही में विलय करने वाले सोनी और जी को एक साथ बोली लगाने का मौका नहीं मिलेगा, बल्कि उन्हें अलग-अलग बोली लगानी होगी।
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