दिल्ली (12 cheetahs From South Africa Will come soon): दक्षिण अफ्रीका और भारत ने भारत में चीतों को लाने के लिए एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। एमओयू के अनुसार, फरवरी 2023 में 12 चीतों के पहले बैच को दक्षिण अफ्रीका से भारत लाया जाएगा। एमओयू की शर्तों की समीक्षा हर 5 साल में की जाएगी। वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने यह जानकारी दी है। मंत्रालय के अनुसार भारत में फिर से चीतों के संख्या बढ़ाने के लिए समझौता ज्ञापन दोनों पार्टियों के सहयोग की सुविधा प्रदान करता है, संरक्षण को बढ़ावा देता है और यह सुनिश्चित करता है कि चीता संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए विशेषज्ञता साझा की जाए एवं क्षमता निर्मित की जाए।
कुनो नेशनल पार्क में रहेंगे
नाम्बिया की तरह दक्षिण अफ्रीका से लाये गए चीतों का ठिकाना भी मध्य प्रदेश का कुनो नेशनल पार्क होगा। एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार 15 फरवरी तक सात नर और पांच मादा चीतों को कुनो नेशनल पार्क में रखा जाएगा। समझौते के अनुसार एक दशक तक हर साल 12 चीतों को दक्षिण अफ्रीका से भारत भेजने की योजना है। पिछले साल जुलाई से 12 दक्षिण अफ्रीकी चीते पृथक-वास में हैं और उनके इस महीने कुनो पहुंचने की उम्मीद थी लेकिन दक्षिण अफ्रीका में कुछ प्रक्रियाओं में समय लगने के कारण उनके भारत आने में देरी हुई।
नामीबिया से आये थे चीतें
सितंबर 2022 में नामीबिया से 5,000 मील (8,000 किमी) का सफर तय कर आठ चीते भारत में आए थे। इन्हें भी भारत के कूनो नेशनल पार्क में छोड़ा गया था, सभी चीते एक विशेष तरह के फ्लाइट से लाए गए थे। पहली बार जंगली चीतों को एक द्वीप से दूसरे द्वीप भेजा गया। आखिरी चीता वर्तमान छत्तीसगढ़ के कोरिया जिले में देखा गया था जिसकी 1947 में मौत हो गई थी और 1952 में इस प्रजाति को भारत में विलुप्त घोषित कर दिया गया था। पिछले साल 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 72वें जन्मदिन पर चीता पुनर्वास कार्यक्रम के तहत पांच मादा और तीन नर चीतों के पहले समूह को नामीबिया से भारत लाया गया था।