संबंधित खबरें
Himachal BPL Rules: सरकार ने बदली 'गरीबी' की परिभाषा, जानें अब कौन कहलाएगा गरीब? BPL के नए नियम जारी
नए साल पर घूमने जानें से पहले पढ़े UP-NCR की ट्रैफिक एडवाइजरी, ये हैं रूटों का प्लान
Maha Kumbh 2025: कुंभ की तैयारियों को देख अखिलेश ने बांधे तारीफों के पुल, बोले- कमियों की तरफ खींचते रहेंगे ध्यान
kota Night Shelters: खुले आसमान के नीचे सोने को मजबूर लोग, अब तक नहीं किया गया रैन बसेरे का इंतजाम
Kotputli Borewell Rescue: 65 घंटे से बोरवेल में फंसी मासूम चेतना, रेस्क्यू ऑपरेशन लगातार जारी, मां की बिगड़ी तबीयत
Ajmer Bulldozer Action: दरगाह के पास चला निगम का पीला पंजा, अवैध अतिक्रमण साफ, कार्रवाई से क्षेत्र में मचा हड़कंप
Banarasi Pan And Langda Aam: काशी ने एक बार फिर सांस्कृतिक रूप से दुनिया में अपनी छाप छोड़ी है। काशी के चार नए उत्पादों को जीआई टैग मिला है। काशी के कुल 22 उत्पादों को अब तक जीआई मिल चुका है जबकि उत्तर प्रदेश के 45 उत्पादों को अब तक जीआई टैग मिल चुका है।
स्थानीय उत्पादों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निरंतर प्रयास करते रहे है। जीआई विशेषज्ञ, पद्मश्री डॉ. रजनीकांत ने बताया कि नाबार्ड यूपी और राज्य सरकार के सहयोग से इस वर्ष राज्य के 11 उत्पादों को जीआई टैग मिला है, जिसमें सात उत्पाद ओडीओपी में शामिल हैं और चार उत्पाद कृषि और बागवानी से संबंधित हैं।
जिन्हें जीआई टैग मिला है उन्हें बनारसी लंगड़ा आम (जीआई पंजीकरण संख्या – 716), रामनगर भंता- बैंगन (717), बनारसी पान (730) और आदमचीनी चावल (715) शामिल हैं। बनारसी लंगड़ा आम को जीआई टैग मिलने के बाद विश्व बाजार में उतराने की तैयारी है।
डॉ. रजनीकांत ने कहा कि नाबार्ड (नेशनल बैंक फॉर एग्रीकल्चर एंड रूरल डेवलपमेंट) यूपी के सहयोग से कोविड के कठिन समय में यूपी के 20 उत्पादों के लिए जीआई आवेदन किए गए, जिसमें लंबी कानूनी प्रक्रिया के बाद 11 जीआई टैग प्राप्त हुए। अगले महीने के अंत तक देश की बौद्धिक संपदा में चिरईगांव आंवले के साथ बनारस लाल पेड़ा, तिरंगी बर्फी, बनारसी ठंडाई और बनारस लाल भरवा मिर्च समेत बाकी नौ उत्पाद भी शामिल हो जाएंगे।
पूर्व में बनारस और पूर्वांचल से 18 उत्पादों को जीआई टैग मिल चुका है। जिनमें बनारस ब्रोकेड और साड़ियां, हस्तनिर्मित भदोही कालीन, मिर्जापुर हस्तनिर्मित कालीन, बनारस मेटल रेपोसी क्राफ्ट, वाराणसी गुलाबी मीनाकारी, वाराणसी लकड़ी के लकवेयर और खिलौने, निजामाबाद ब्लैक पत्री, बनारस ग्लास बीड्स शामिल हैं।
वाराणसी सॉफ्टस्टोन वर्क, गाजीपुर वॉल हैंगिंग, चुनार सैंडस्टोन, चुनार ग्लेज पटारी, गोरखपुर टेराकोटा क्राफ्ट, बनारस जरदोजी, बनारस हैंड ब्लॉक प्रिंट, बनारस वुड कार्विंग, मिर्जापुर पीतल के बर्तन और मऊ साड़ी को जीआई टैग मिल चुका है। इसके अलावा अलीगढ़ ताला, हाथरस हींग, मुजफ्फरनगर गुड़, नगीना वुड कार्टिंग, बखिरा ब्रासवेयर, बांदा शजर स्टोन क्राफ्ट, प्रतापगढ़ आंवला सहित उत्तर प्रदेश के कुल 7 ओडीओपी उत्पादों को भी जीआई टैग मिला है।
यह भी पढ़े- रोजाना खाएं 4 भीगे हुए खजूर, होंगे ये चमत्कारी फायदे
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.