होम / 2 जनवरी को हुई थी 'भारत रत्न' की स्थापना, जानें कितना महत्वपूर्ण है ये पदक

2 जनवरी को हुई थी 'भारत रत्न' की स्थापना, जानें कितना महत्वपूर्ण है ये पदक

Ashish kumar Rai • LAST UPDATED : January 2, 2023, 4:41 pm IST
ADVERTISEMENT
2 जनवरी को हुई थी 'भारत रत्न' की स्थापना, जानें कितना महत्वपूर्ण है ये पदक

इंडिया न्यूज़ (दिल्ली) : देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘भारत रत्न’ की शुरुआत आज ही के दिन साल 1954 में हुई थी। जानकारी दें, 2 जनवरी 1954 को तत्कालीन राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद ने भारत रत्न की स्थापना की थी। तब से लेकर अब तक 48 लोगों को भारत रत्न से विभूषित किया जा चुका है, जिनमें कई विदेशी शख्सियतें भी शामिल हैं।

ऐसे मिलता देश का सबसे बड़ा सम्मान

जानकारी दें, ‘भारत रत्न’ किसी भी क्षेत्र में अद्वितीय योगदान के लिए प्रदान किया जाता है। किसी शख़्स ने कोई ऐसा कार्य किया हो जिससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का गौरव बढ़ा हो, उसे भारत रत्न मिल सकता है। भारत सरकार के गृह मंत्रालय के मुताबिक भारत रत्न किसी भी जाति, धर्म, पंथ, संप्रदाय या लिंग से ताल्लुक रखने वाले शख्स को दिया जा सकता है। भारत के अलावा विदेशी नागरिकों को भी यह सम्मान प्रदान किया जा सकता है।

सबसे बड़ा पदक ऐसे होता है प्राप्त

आपको बता दें, ‘भारत रत्न’ देने की सिफारिश स्वयं प्रधानमंत्री करते हैं। पीएम द्वारा सिफारिश राष्ट्रपति के पास भेजी जाती है और राष्ट्रपति सम्मान देते हैं। किसी और औपचारिक अनुशंसा की जरूरत नहीं होती। नाम तय होने के बाद भारत सरकार राजपत्र के जरिए इसकी अधिसूचना जारी करती है। प्रत्येक वर्ष 26 जनवरी को भारत रत्न दिया जाता है। 2 जनवरी 1954 को जब ‘भारत रत्न’ की शुरुआत की गई थी तब सिर्फ जीवित शख्सियतों को यह सम्मान दिया जाता था। लेकिन, साल 1955 में मरणोपरांत सम्मान देने का प्रावधान भी जोड़ा गया।

‘भारत रत्न’ सम्मान ऐसा होता है

आपको बता दें, ‘भारत रत्न’ के तहत एक पदक प्रदान किया जाता है। पुरस्कार के साथ कोई धनराशि नहीं मिलती है। जब पहली बार ‘भारत रत्न’ की शुरुआत हुई तो इसका पदक 35 मिलीमीटर गोलाकार स्वर्ण पदक था और इस पर सूर्य बना हुआ था। ऊपर हिंदी में भारत रत्न लिखा रहता था और नीचे की तरफ राष्ट्रीय चिन्ह और वाक्य लिखा होता था।

बाद में भारत रत्न के पदक में बदलाव कर दिया गया। अब तांबे के बने पीपल के पत्ते पर प्लैटिनम का चमकता सूर्य बना दिखाई देता है, पदक का किनारा भी प्लैटिनम का है। पदक पर नीचे की तरफ चांदी में ‘भारत रत्न’ लिखा रहता है। पीछे की तरफ अशोक स्तंभ और इसके नीचे ‘सत्यमेव जयते’ लिखा होता है।

पीएम-राष्ट्रपति जैसा तगड़ा प्रोटोकॉल

भारत रत्न से विभूषित शख्सियतों को वारंट ऑफ प्रेसिडेंस में जगह मिलती है। इसके आधार पर किसी सरकारी कार्यक्रम का प्रोटोकॉल तय किया जाता है। भारत रत्न से सम्मानित शख्स देश के लिए वीआईपी होता है, और उसी के आधार पर प्रोटोकॉल मिलता है। भारत रत्न को राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल, पूर्व राष्ट्रपति, पूर्व प्रधानमंत्री, देश के मुख्य न्यायाधीश, लोकसभा अध्यक्ष, कैबिनेट मंत्री, मुख्यमंत्री, और संसद के दोनों सदनों में विपक्ष के नेता के बाद जगह मिलती है।

देश के सबसे बड़े सम्मान से संवर जाती है जिंदगी

ज्ञात हो, ‘भारत रत्न’ से सम्मानित शख्स को रेलवे से लेकर हवाई जहाज में आजीवन निशुल्क यात्रा की सुविधा मिलती है। ‘भारत रत्न’ से सम्मानित कोई विभूति कहीं यात्रा करता है तो उस राज्य का स्टेट गेस्ट होता है। यात्रा के दौरान रहने से लेकर सुरक्षा तक की तमाम व्यवस्था राज्य को करनी होती है। भारत रत्न से सम्मानित शख़्स के परिवार को भी तमाम सुविधाएं मिलती हैं।

डिप्लोमैटिक पासपोर्ट का हक़दार

आपको बता दें, ‘भारत रत्न’ से सम्मानित शख्सियत डिप्लोमैटिक पासपोर्ट का भी हकदार होता है, जो सिर्फ डिप्लोमैट्स या टॉप सरकारी अधिकारियों को जारी किया जाता है। मालूम हो, डिप्लोमैटिक पासपोर्ट के तहत एयरपोर्ट पर अलग इमिग्रेशन काउंटर से लेकर वीआईपी लाउंज ऐसी सुविधाएं होती हैं। सिक्योरिटी चेक में भी छूट मिलती है।

Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.

ADVERTISEMENT

लेटेस्ट खबरें

2 पक्षों में विवाद सुलझाने गए दरोगा की हो गई जमकर पिटाई, लोगों ने बनाया बंधक,  फिर ऐसी हालत में….
2 पक्षों में विवाद सुलझाने गए दरोगा की हो गई जमकर पिटाई, लोगों ने बनाया बंधक, फिर ऐसी हालत में….
Delhi Pollution News: दिल्ली सरकार और पुलिस के कामकाज पर SC का सवाल, कोर्ट कमिश्नर ने गिनाईं ये कमियां
Delhi Pollution News: दिल्ली सरकार और पुलिस के कामकाज पर SC का सवाल, कोर्ट कमिश्नर ने गिनाईं ये कमियां
Bihar Politics: ‘एक हो जाएं, सेफ हो जाएं’ -NDA का आया तेजस्वी यादव को प्रस्ताव
Bihar Politics: ‘एक हो जाएं, सेफ हो जाएं’ -NDA का आया तेजस्वी यादव को प्रस्ताव
संभल में हुई हिंसा में इस्तेमाल हुआ खतरनाक हथियार…एक वार में हो जाएगा काम तमाम, पुलिस के छूटे पसीने
संभल में हुई हिंसा में इस्तेमाल हुआ खतरनाक हथियार…एक वार में हो जाएगा काम तमाम, पुलिस के छूटे पसीने
अपर्णा यादव ने संभल बवाल पर दिया बयान, गुंडई बर्दाश्त नहीं करेगी योगी सरकार
अपर्णा यादव ने संभल बवाल पर दिया बयान, गुंडई बर्दाश्त नहीं करेगी योगी सरकार
Rishabh Pant यूं ही नहीं बने IPL इतिहास के सबसे महंगे खिलाड़ी, जानें वो 2 वजहें जो बदल देंगी भारत का क्रिकेट!
Rishabh Pant यूं ही नहीं बने IPL इतिहास के सबसे महंगे खिलाड़ी, जानें वो 2 वजहें जो बदल देंगी भारत का क्रिकेट!
Kaithal Accident News: चलती कार बनी आग का गोला, कुछ ही मिनटों में जलकर हुई राख
Kaithal Accident News: चलती कार बनी आग का गोला, कुछ ही मिनटों में जलकर हुई राख
शौक के लिए नहीं बल्कि शरीर के लिए खाएं चांदी की थाली में खाना, मिलेंगे ये 4 तरह के गजब के फायदें, जिसे सुन आप भी रह जाएंगे हैरान
शौक के लिए नहीं बल्कि शरीर के लिए खाएं चांदी की थाली में खाना, मिलेंगे ये 4 तरह के गजब के फायदें, जिसे सुन आप भी रह जाएंगे हैरान
संभल हिंसा पर आया APP के सांसद संजय सिंह का बयान, लगाया बड़ा आरोप, कहा-BJP की थी…
संभल हिंसा पर आया APP के सांसद संजय सिंह का बयान, लगाया बड़ा आरोप, कहा-BJP की थी…
कहां गायब हो गया ‘भोपाल का महेश’? PM  मोदी के ‘मन की बात’ में सराहना के बाद से जारी है खोज
कहां गायब हो गया ‘भोपाल का महेश’? PM मोदी के ‘मन की बात’ में सराहना के बाद से जारी है खोज
आगामी चुनाव के लिए बन रही रणनीति! NDA ने उपचुनाव की जीत पर जताई खुशी
आगामी चुनाव के लिए बन रही रणनीति! NDA ने उपचुनाव की जीत पर जताई खुशी
ADVERTISEMENT