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इंडिया न्यूज़ (नई दिल्ली, Jharkhand Governor Return Excise amendment bill to goverment): झारखंड के राज्यपाल रमेश बैस ने इस साल की शुरुआत में राज्य विधानसभा में हेमंत सोरेन सरकार द्वारा पारित झारखंड आबकारी (संशोधन) विधेयक, 2022 को कुछ सुझावों और निर्देशों के साथ वापस कर दिया है।
राजभवन के अनुसार, आठ बिंदु हैं जिन पर राज्यपाल को आपत्ति है और उन्होंने राज्य सरकार से पुनर्विचार करने को कहा है। राज्यपाल ने अपनी अनुशंसाओं में नई आबकारी नीति लागू होने के बाद चालू वित्त वर्ष की पहली दो तिमाहियों में राज्य में घटते आबकारी राजस्व पर भी चिंता जताई है।
राज्यपाल ने अधिनियम के किसी भी उल्लंघन के लिए केवल खुदरा शराब दुकान के कर्मचारियों को जवाबदेह बनाने के प्रावधान पर भी सवाल उठाया है और कहा है कि एजेंसी (दुकान चलाने वाली) और जेबीसीएल के अधिकारियों की जिम्मेदारी भी तय की जानी चाहिए।
राजभवन की आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है, “ऐसा लगता है कि निगम और संबंधित एजेंसी के अधिकारियों को बचाने के लिए प्रावधान शामिल किया गया है।”
निजी लाइसेंस धारकों के विरोध के बीच हेमंत सोरेन सरकार ने इस साल की शुरुआत में नई आबकारी नीति लाई और शराब के थोक और खुदरा कारोबार को अपने नियंत्रण में ले लिया। यह पांचवां विधेयक होगा जिसे राज्यपाल ने विचार और सुधार के लिए राज्य सरकार को लौटाया है।
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