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Makar Sankranti 2024: इस बार मकर संक्रांति में जरुर करें ये विशेष काम, मिलेगा बड़ा लाभ

Mudit Goswami • LAST UPDATED : January 10, 2024, 1:54 pm IST

India News (इंडिया न्यूज़), Makar Sankranti 2024, दिल्ली: मकर संक्रांति का पवित्र दिन इस बार 15 जनवरी 2024 को है। ऐसे में सूर्य उदय होने पर खरमास समाप्त होगा और सारे मांगलिक कार्य शुरू हो जाएंगे। वही बता दे कि इस बार की मकर संक्रांति को काफी खास माना जा रहा है। इस दिन सालों के बाद दुर्लभ संयोग बैठ रहे हैं। जिससे कुछ राशियों पर अच्छा प्रभाव पड़ने वाला है।

जैसा कि पूरा देश जानता है कि मकर संक्रांति का दिन सूर्य की पूजा के लिए विशेष होता है। ऐसे में विशेष राशियों का भाग्य सूर्य की तरह चमकने के लिए 2024 में तैयार है।

करें ये विशेष काम

  • नदी स्नान – शास्त्रों में कहा गया है कि मकर संक्रांति के दिन ही गंगा जी का धरती पर अवतरण हुआ। इस लिए इस दिन गंगा स्नान का विशेष महत्व है।
  • दान – मकर संक्रांति पर काले तिल, सफेद तिल, गुड़ और सुहाग सामग्री का दान करने से दुर्भाग्य दूर होता है। दरिद्रता दूर होती है।
  • पतंग उड़ाने का महत्व – तमिल की तन्नाना रामायण के अनुसार पतंग उड़ाने की परंपरा भगवान श्री राम ने शुरू की थी। इस दिन भगवान श्रीराम ने जो पतंग उड़ाई थी वह पतंग इंद्रलोक तक पहुंच गई थी।
  • नया काम- मकर संक्रांति के दिन नया काम शुरू करना शुभ होता है। ऐसा माना जाता है कि भाग्य सूर्य की तरह चमकता है, नए निवेश, नया व्यवसाय, नई नौकरी शुरू करने से समृद्धि आती है।
  • गाय को हरा चारा- गाय में 33 करोड़ देवी-देवताओं का वास होता है, मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर गाय को हरा चारा खिलाएं, माना जाता है कि इससे सौभाग्य में वृद्धि होती है।
  • तिल से हवन के लाभ – षट्कर्म में काले तिल और लक्ष्मी कर्म में सफेद तिल का प्रयोग करने से शीघ्र आर्थिक लाभ होता है। मकर संक्रांति के दिन गाय के घी में सफेद तिल मिलाकर मां लक्ष्मी या श्री सूक्त का हवन करने से घर में मां लक्ष्मी का वास रहता है।
  • तिल और गुड़ का सेवन- तिल को दरिद्रता का नाश करने वाला कहा गया है। मकर संक्रांति पर कड़ाके की ठंड होती है, ऐसे में तिल और गुड़ का सेवन करने से शरीर को ऊर्जा मिलती है और व्यक्ति का आत्मविश्वास बढ़ता है।
  • खिचड़ी का प्रसाद- मकर संक्रांति पर चावल, दाल, सब्जी, गुड़ और घी से बनी खिचड़ी विशेष रूप से चढ़ाई जाती है. मान्यता है कि इसके सेवन और दान से नौ ग्रह प्रसन्न रहते हैं।
  • पितृ तर्पण- मकर संक्रांति पर पितरों को प्रसन्न करने के लिए तर्पण करने की परंपरा है। इससे घर में खुशहाली आती है। वंश बढ़ता है.
  • अनाज पूजा- मकर संक्रांति का त्योहार नई फसल के आगमन की खुशी में मनाया जाता है। ऐसे में इस दिन खेती और मवेशियों से जुड़े सभी उपकरणों की पूजा करनी चाहिए और भगवान इंद्र और सूर्य के प्रति आभार व्यक्त करना चाहिए। इससे पूरे वर्ष धन-धान्य की कमी नहीं होती।
  • शनिदेव – सूर्य पूजा – मकर संक्रांति सूर्य-शनि (पिता-पुत्र) के मिलन का दिन है। कुंडली में ये दोनों ही ग्रह विशेष माने गए हैं। इस दिन सूर्य की पूजा करने से करियर में लाभ मिलता है जबकि शनि की पूजा करने से परेशानियां दूर होती हैं।
  • इस विधि से करें लक्ष्मी पूजा – मकर संक्रांति के दिन स्नान के बाद 14 कौड़ियों को गंगा जल से स्नान कराकर पूजा करें। ‘ॐ संक्रत्याय नमः’ मंत्र का 14 बार जाप करें।

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