होम / Republic Day 2024 History: आखिर क्यों मनाया जाता है गणतंत्र दिवस, जानें इस दिन का महत्व

Republic Day 2024 History: आखिर क्यों मनाया जाता है गणतंत्र दिवस, जानें इस दिन का महत्व

Mudit Goswami • LAST UPDATED : January 23, 2024, 12:24 pm IST
ADVERTISEMENT
Republic Day 2024 History: आखिर क्यों मनाया जाता है गणतंत्र दिवस, जानें इस दिन का महत्व

Republic Day 2024 History

India News (इंडिया न्यूज), Republic Day 2024 History:  26 जनवरी का दिन हर भारतीय के लिए बेहद खास है। यह दिन भारतीय नागरिकों की लोकतांत्रिक रूप से अपनी सरकार चुनने की शक्ति को दर्शाता है। साथ ही भारत के इतिहास में यह दिन कई तरह से महत्वपूर्ण है। यही वजह है कि इस दिन को पूरे देश में हर्षोल्लास और उत्साह के साथ मनाया जाता है। वहीं, इस राष्ट्रीय त्योहार की अपनी अलग खासियत है, जिसके चलते लोग इसे धूमधाम से सेलिब्रेट करते हैं।

बता दें कि देश इस साल अपना 75वां गणतंत्र दिवस मनाने जा रहा है। इसके लिए दिल्ली के कर्तव्य पथ पर महिनों से तैयारियां जारी है। वहीं इस बार गणतंत्र दिवस में राम मंदिर, चंद्रयान-3 और विदेश मंत्रालय के उपलब्धियों से जुड़ी 26 झांकियां निकाली जाएंगी। जिनके साक्षी फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों बनेंगे।   लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत में गणतंत्र दिवस 26 जनवरी को ही क्यों मनाया जाता है? तो यहां जानिए गणतंत्र दिवस के इतिहास और इसके महत्व के बारे में जानकारी।

गणतंत्र दिवस का इतिहास

आपको बता दें कि हर साल 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस इसलिए मनाया जाता है, क्योंकि इसी दिन पूरे देश में संविधान लागू किया गया था। 26 जनवरी, 1950 को संविधान लागू होने के साथ ही भारत को पूर्ण गणराज्य घोषित किया गया था। यही वजह है कि हर साल इस खास दिन की याद में 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस मनाया जाता है। साल 1947 में भारत को मिली आजादी के बाद इसे लोकतांत्रिक बनाने के मकसद से देश का संविधान बनाना शूरू किया गया। 2 साल 11 महीने और 18 दिन में बनकर तैयार हुए भारत के संविधान को 26 नवंबर, 1949 में देश की संविधान सभा ने स्वीकार किया। इसके बाद अगले ही साल 26 जनवरी, 1950 को पूरे देश में यह संविधान लागू किया गया था।

गणतंत्र दिवस का महत्व

26 नवंबर को स्वीकार किए गए भारत के संविधान को लागू करने के लिए 26 जनवरी का दिन ही क्यों चुना गया। बता दें कि संविधान लागू करने के लिए इस तारीख को चुनने का भी एक खास मकसद था। दरअसल, 26 जनवरी 1930 को अंग्रेजों की गुलामी के खिलाफ कांग्रेस ने भारत को पूर्ण स्वतंत्र घोषित किया था। ऐसे में पूर्ण स्वराज का प्रस्ताव लागू होने की इस तिथि के महत्व को ध्यान में रखते हुए संविधान लागू करने के लिए 26 जनवरी का दिन चुना गया था। 1950 में इसी दिन संविधान लागू करने के साथ ही देश को पूर्ण गणतंत्र घोषित किया गया और तब से लेकर अब तक हर साल 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस मनाया जाता है।

दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान

अंग्रेजों से मिली आजादी के बाद देश के लिए एक संविधान की जरूरत महसूस हुई। ऐसे में इसे बनाने के लिए एक संविधान सभा का गठन हुआ था। इस सभा ने 9 दिसंबर, 1946 से संविधान बनाने का काम शुरू किया। भारत की इस संविधान सभा के अध्यक्ष डॉ. राजेन्द्र प्रसाद थे। जबकि संविधान की ड्राफ्टिंग समिति के अध्यक्ष डॉ. भीमराव अंबेडकर थे। डॉ. अंबेडकर ने भारत के संविधान को बनाने में एक अहम भूमिका निभाई थी, जिसकी वजह से उन्हें संविधान निर्माता भी कहा जाता है। भारत का संविधान दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान है, जिसे बनाने में पूरे 2 साल, 11 माह, 18 दिन लगे थे। इसके बाद 26 नवंबर, 1949 को संविधान सभा ने अध्यक्ष डॉ. राजेन्द्र प्रसाद को देश का संविधान सौंपा था। यही वजह है कि हर साल 26 नवंबर को संविधान दिवस के रूप में मनाया जाता है।

यह भी पढ़ेंः-

Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.

ADVERTISEMENT

लेटेस्ट खबरें

आखिरकार Amitabh Bachchan ने अपने परिवार के लिए उठाया ये कदम, पोस्ट शेयर कर बोले- ‘शायद ही कभी बात करता हूं लेकिन…’
आखिरकार Amitabh Bachchan ने अपने परिवार के लिए उठाया ये कदम, पोस्ट शेयर कर बोले- ‘शायद ही कभी बात करता हूं लेकिन…’
Rajasthan By Election Result: देवली-उनियारा में मतगणना के दौरान रहेगी सख्त निगरानी, थप्पड़ कांड के बाद कलेक्टर सौम्या झा ने कसी कमर
Rajasthan By Election Result: देवली-उनियारा में मतगणना के दौरान रहेगी सख्त निगरानी, थप्पड़ कांड के बाद कलेक्टर सौम्या झा ने कसी कमर
Rajasthan Crime: स्कूल जा रही मासूम को बनाया हवस का शिकार, कोर्ट से आया बड़ा फैसला
Rajasthan Crime: स्कूल जा रही मासूम को बनाया हवस का शिकार, कोर्ट से आया बड़ा फैसला
पूर्व भारतीय क्रिकेटर अजीत चंदिला ने की भविष्यवाणी, बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में भारत की 3-1 से होगी जीत
पूर्व भारतीय क्रिकेटर अजीत चंदिला ने की भविष्यवाणी, बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में भारत की 3-1 से होगी जीत
इन 5 लोगों के लिए जहर है आंवला, खाने से बन सकता है गले का फंदा, जान लें इसके खाने से शरीर पर क्या होगा भारी नुकसान
इन 5 लोगों के लिए जहर है आंवला, खाने से बन सकता है गले का फंदा, जान लें इसके खाने से शरीर पर क्या होगा भारी नुकसान
राजधानी दिल्ली में संपत्ति खरीदने पर अब नहीं होंगे धोखाधड़ी के शिकार, 12 लाख संपत्तियों का डेटा ऑनलाइन, जानें पूरा मामला
राजधानी दिल्ली में संपत्ति खरीदने पर अब नहीं होंगे धोखाधड़ी के शिकार, 12 लाख संपत्तियों का डेटा ऑनलाइन, जानें पूरा मामला
1984 सिख विरोधी दंगों के 47 पीड़ितों को LG सक्सेना ने बांटे नियुक्ति पत्र, पहले भर्ती योग्यता में मिली थी छूट
1984 सिख विरोधी दंगों के 47 पीड़ितों को LG सक्सेना ने बांटे नियुक्ति पत्र, पहले भर्ती योग्यता में मिली थी छूट
सुबह खाली पेट खाएं ये मीठी चीज, ब्लड शुगर कंट्रोल करने से लेकर खोखली हड्डियों की मजबूती तक में करेगा मदद
सुबह खाली पेट खाएं ये मीठी चीज, ब्लड शुगर कंट्रोल करने से लेकर खोखली हड्डियों की मजबूती तक में करेगा मदद
राजस्थान में पूर्व छात्र ने पेट्रोल डाल खूद को फूंका, विश्वविद्यालय में मचा हड़कंप
राजस्थान में पूर्व छात्र ने पेट्रोल डाल खूद को फूंका, विश्वविद्यालय में मचा हड़कंप
जोड़ों से गायब हो जाएगा भयंकर से भयंकर Uric Acid, क्रिस्टल को सोख लेगी ये खास चटनी, बस इन 5 चीजों से करें तैयार
जोड़ों से गायब हो जाएगा भयंकर से भयंकर Uric Acid, क्रिस्टल को सोख लेगी ये खास चटनी, बस इन 5 चीजों से करें तैयार
चलती बस से कूदी लड़की, बस में फैली यौन शोषण की…महिला के मेडिकल से हुआ बड़ा खुलासा
चलती बस से कूदी लड़की, बस में फैली यौन शोषण की…महिला के मेडिकल से हुआ बड़ा खुलासा
ADVERTISEMENT