India News, इंडिया न्यूज़,केरल,Kerala: फर्जी प्रमाणपत्र के मामले में केरल उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को केरल छात्र संघ के एक पूर्व संयोजक को पूछताछ के लिए पुलिस के सामने पेश होने का निर्देश दिया है। मिली जानकारी के अनुसार न्यायमूर्ति जियाद रहमान एए ने केरल छात्र संघ के पूर्व संयोजक अंसिल जलील को मामले में पूछताछ के लिए एक सप्ताह के भीतर जांच अधिकारी के सामने पेश होने का निर्देश दिया। हालांकि, अदालत ने आदेश दिया कि गिरफ्तारी की स्थिति में जलील को जमानत पर रिहा किया जाए। यह आदेश इस महीने की शुरुआत में जलील के खिलाफ मामला दर्ज होने के बाद दायर अग्रिम जमानत की याचिका पर दिया गया था।

अदालत ने दिए निर्देश

इस मामले में केरला हाई कोर्ट ने कहा है कि, पूछताछ के बाद यदि याचिकाकर्ता जलील की गिरफ्तारी होती है, तो उसे जांचकर्ता की संतुष्टि के लिए समान राशि के दो सॉल्वेंट जमानत के साथ केवल 50,000 रुपये के बांड भरने पर जमानत पर रिहा किया जाएगा। यह आदेश दो सप्ताह की अवधि के लिए लागू रहेगा। इसके साथ हीं इसमें ये भी कहा गया है कि यह आदेश “जांच में याचिकाकर्ता का सहयोग सुनिश्चित करने के लिए” जारी किया जा रहा है।

जाने क्या पूरा मामला

बता दें कि, केरल छात्र संघ के पूर्व संयोजक जलील पर बीकॉम डिग्री सर्टिफिकेट में फर्जीवाड़ा करने का आरोप लगा है। जिसके बाद पुलिस ने केरल विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक की शिकायत के आधार पर जांच शुरू की, जिसमें कथित तौर पर पाया गया कि विश्वविद्यालय द्वारा जलील को कथित तौर पर जारी किया गया प्रमाणपत्र नकली था।

जलील ने आरोप का किया खंडन

हलाकि केरल छात्र संघ के पूर्व संयोजक जलील ने अपने ऊपर लगे आरोपों का खंडन कर दिया है और अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि, उन्होंने कभी भी केरल विश्वविद्यालय से बीकॉम की पढ़ाई नहीं की और केवल बीए हिंदी साहित्य पाठ्यक्रम में दाखिला लिया, जिसे उन्होंने पूरा नहीं किया। उन्होंने यह भी दावा किया कि उन्होंने नौकरी या उच्च शिक्षा के लिए कहीं भी डिग्री प्रमाणपत्र जमा नहीं किया है। अदालत इस मामले की अगली सुनवाई 12 जुलाई को करेगी।

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