Akhilesh Yadav: राजधानी लखनऊ में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कई मुद्दों पर अपनी राय रखी. इस दौरान जगतगुरु रामभद्राचार्य को लेकर भी सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने बड़ा बयान दिया है. सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि अगर मैं उनके बारे में कुछ भी कहूंगा तो विवाद हो जाएगा.
अखिलेश यादव ने क्या कहा?
रामभद्राचार्य को लेकर समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि वे दिव्यांग हैं और पूजनीय हैं, उन्होंने मुझे डॉक्टरेट की उपाधि दी है, हालाँकि मैं उस उपाधि का उपयोग नहीं करता. हमने उनके विरुद्ध मुकदमा वापस ले लिया था, अगर मैं उनके बारे में कुछ भी कहूंगा तो विवाद हो जाएगा। जहाँ तक साधु की बात है, तो वे चाहते हैं कि कोई भी कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर बहस न करे, कोई भी पावर प्लांट, एक्सप्रेसवे, हमारी नदियों की सफाई कैसे हो, इस पर बहस न करे.
समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि जब तक सरकार मुनाफाखोरी और लूट बंद नहीं करेगी, तब तक जनता को राहत नहीं मिलेगी। महंगाई तभी कम होगी जब भाजपा जाएगी. जब भाजपा वाले जाएंगे, तभी लोगों को न्याय और उनका अधिकार मिलेगा। प्रेस को आज़ादी तभी मिलेगी जब भाजपा जाएगी, यह सरकार वोट चोरी से बनी है. उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी का सपना दिखाया गया था, लेकिन शहर में कूड़े के ढेर लगे हैं. यह कैसा राज्य है, पता नहीं कौन सी संस्था शहरों में आकर झूठ फैलाती है कि यूपी के तीन शहर स्वच्छता में टॉप 3 हैं। ऐसी संस्थाओं को ब्लैक लिस्ट कर देना चाहिए.
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि हम विश्वकर्मा समाज के लोगों को यकीन दिलाते हैं कि हम उनके साथ खड़े रहेंगे. हम नदी तट पर भगवान विश्वकर्मा को एक सम्मानित स्थान समर्पित करेंगे. मुझे पूरा विश्वास है कि 2027 के चुनाव में हम सब एक-दूसरे का साथ देंगे और सामाजिक न्याय के लिए समाजवादी पार्टी की सरकार बनाएंगे.
इससे पहले मायावती ने साधा था निशाना
इससे पहले, बसपा प्रमुख मायावती ने शनिवार को सोशल मीडिया पर पोस्ट कर संतों को गलत बयानबाजी न करने और विवादित बयानों से बचने की सलाह दी. हाल ही में मायावती ने जगद्गुरु रामभद्राचार्य द्वारा बाबा साहेब अंबेडकर पर की गई टिप्पणी पर नाराजगी जताई है. हालाँकि, मायावती ने अपनी पोस्ट में किसी का नाम नहीं लिया है. उन्होंने कहा है कि बिना जानकारी के कोई भी गलत बयान देने के बजाय, वे चुप रहें तो बेहतर होगा.
सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए मायावती ने लिखा कि जैसा कि सर्वविदित है कि सुर्खियों में बने रहने के लिए विवादित बयान देने वाले कुछ साधु-संतों को भारतीय संविधान के निर्माण में परम पूज्य बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के अतुलनीय योगदान के बारे में सही जानकारी नहीं है, इसलिए इस मामले पर कोई भी गलत बयानबाजी आदि करने के बजाय, वे चुप रहें तो बेहतर होगा.
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