छठ पूजा की शुरुआत और महत्व
छठ पूजा की शुरुआत ‘नहाय-खाय’ से होती है, जो पवित्रता और आत्मसंयम का प्रतीक है. इसके बाद दूसरे दिन ‘खरना’ आता है, जब व्रती पूरे दिन निर्जला उपवास रखकर शाम को प्रसाद ग्रहण करते हैं. तीसरे दिन ‘संध्या अर्घ्य’ के रूप में व्रती डूबते सूर्य को अर्घ्य अर्पित करते हैं, जबकि चौथे दिन ‘उषा अर्घ्य’ यानी उगते सूर्य को अर्घ्य देकर पर्व का समापन किया जाता है. यह चार दिन का पर्व न केवल सूर्य की आराधना का अवसर है, बल्कि परिवार, प्रकृति और समाज के प्रति आभार व्यक्त करने का भी प्रतीक है.
2025 में छठ पूजा का पूरा कार्यक्रम
25 अक्टूबर – नहाय-खाय: स्नान, शुद्धिकरण और सात्विक भोजन का दिन
26 अक्टूबर – खरना: निर्जला उपवास और गुड़-चावल का प्रसाद
27 अक्टूबर – संध्या अर्घ्य: डूबते सूर्य की पूजा और सामूहिक आराधना
28 अक्टूबर – उषा अर्घ्य: उगते सूर्य को अर्घ्य देकर व्रत का समापन
बिहार में स्कूलों की छुट्टियां
बिहार में छठ पूजा की तैयारियां पूरे जोश से चल रही हैं. राज्य शिक्षा विभाग ने इस पर्व के उपलक्ष्य में सभी सरकारी और निजी स्कूलों में अवकाश घोषित कर दिया है. स्कूल 25 अक्टूबर से 29 अक्टूबर, 2025 तक बंद रहेंगे ताकि छात्र, शिक्षक और अभिभावक इस महापर्व में पूरी श्रद्धा से भाग ले सकें. कक्षाएं 30 अक्टूबर से पुनः आरंभ होंगी. बिहार में छठ केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि यह लोकसंस्कृति का अभिन्न हिस्सा है.
दिल्ली में स्कूलों की छुट्टियां
उत्तर प्रदेश में त्योहारी अवकाश
उत्तर प्रदेश में दिवाली की छुट्टियां पहले ही 20 से 23 अक्टूबर तक दी गई थीं. अब छठ पूजा के अवसर पर 25 से 28 अक्टूबर तक अतिरिक्त छुट्टियां मिलने की उम्मीद है. हालांकि शिक्षा विभाग की आधिकारिक अधिसूचना अभी जारी नहीं हुई है, लेकिन कई स्कूलों ने पहले ही अपने त्योहारी कार्यक्रम तय कर लिए हैं. पूर्वांचल क्षेत्र विशेषकर गोरखपुर, वाराणसी और बलिया में छठ पूजा का विशेष महत्व है, जहां घाटों पर लाखों की संख्या में श्रद्धालु जुटते हैं.
राजस्थान में उत्सव की तैयारी
राजस्थान में भी छठ पूजा का प्रभाव धीरे-धीरे बढ़ रहा है, खासकर उन शहरों में जहाँ बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश से आए प्रवासी समुदाय बड़ी संख्या में रहते हैं. फिलहाल राज्य में 25 अक्टूबर तक त्योहारों के चलते स्कूल बंद हैं. हालांकि छठ पूजा के लिए अतिरिक्त छुट्टियों की कोई औपचारिक घोषणा नहीं हुई है, लेकिन कई जिलों में स्थानीय प्रशासन समुदाय की भागीदारी को देखते हुए छुट्टियों की अवधि बढ़ा सकता है.