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Yuvraj Singh: क्रिकेट नहीं, तो फिर क्या युवराज सिंह का पहला सपना… जानें वर्ल्ड कप 2011 के ‘हीरो’ से जुड़े 5 अनसुने फैक्ट

Yuvraj Singh Unknown Facts: युवराज सिंह आज अपना जन्मदिन मना रहे हैं. उन्हें क्रिकेट की दुनिया में बेहतरीन ऑलराउंडर के रूप में जाना जाता है. हालांकि क्रिकेट से अलग भी उनसे जुड़ी कई ऐसी बातें हैं, जिनके बारे में शायद आपको भी नहीं पता होगा.

Written By: Ankush Upadhyay
Last Updated: December 12, 2025 11:50:17 IST

Yuvraj Singh Unknown Facts: भारतीय टीम के पूर्व दिग्गज ऑलराउंडर युवराज सिंह आज अपना 44वां बर्थडे मना रहे हैं. युवराज सिंह का नाम दुनिया के सबसे बेहतरीन क्रिकेटरों में गिना जाता है. उन्होंने साल 2007 और 2011 वर्ल्ड कप में भारतीय टीम की जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. युवराज सिंह को 2011 के वर्ल्ड कप का हीरो माना जाता है, जिन्होंने कैंसर से जूझते हुए भी देश के लिए खेला था. उन्होंने इस वर्ल्ड कप में बल्ले और गेंद दोनों से शानदार प्रदर्शन किया था. अब वह इंटरनेशनल क्रिकेट से रिटायर हो चुके हैं. युवराज सिंह अपने क्रिकेट करियर के दौरान कई बड़े रिकॉर्ड बनाए हैं, जिन्हें अभी तक कोई खिलाड़ी तोड़ नहीं पाया है. हालांकि खेल के अलावा भी युवराज सिंह से जुड़े कई अनसुने किस्से हैं, जिनके बारे में कम लोग ही जानते हैं. आइए जानते हैं युवराज सिंह से जुड़े अनसुने फैक्ट्स…

फिल्म में काम कर चुके युवराज सिंह

ऐसा कहा जाता है कि युवराज सिंह का पहला प्यार क्रिकेट नहीं, बल्कि कुछ और था. बचपन में युवराज सिंह को एक्टिंग करना पसंद था. वह पंजाबी फिल्म में भी काम कर चुके हैं. उन्होंने पंजाबी फिल्म ‘मेहंदी शगना दी’ में काम किया था. हालांकि युवराज सिंह खुद स्वीकार करते हैं कि उन्हें एक्टिंग करनी नहीं आती है. 

स्केटिंग चैंपियनशिप जीत चुके युवराज

युवराज सिंह ने साल 2011 में भारतीय टीम को वर्ल्ड कप जिताने के लिए अहम भूमिका निभाई थी. युवी को बचपन में टेनिस और रोलर स्केटिंग का शौक था. उन्होंने इअंड-14 रोलर स्केटिंग चैंपियनशिप भी जीती थी. हालांकि उनके पिता योगराज युवराज सिंह को क्रिकेटर बनाना चाहते थे. 

लकी नंबर 12

युवराज सिंह का जन्म 12 दिसंबर को हुआ था. इसकी वजह से युवराज सिंह 12 को अपना लकी नंबर मानते हैं, जिसके लिए उन्होंने अपना जर्सी नंबर भी 12 चुना. खास बात यह है कि युवराज सिंह ने टी20 वर्ल्ड कप के दौरान 12 गेंदों में अर्धशतक लगाया था, जो कि अब तक किसी भी आईसीसी टूर्नामेंट में सबसे तेज फिफ्टी है.

युवी ने पूरा किया पिता का सपना

युवराज सिंह के पिता योगराज सिंह उन्हें क्रिकेटर बनाना चाहते थे, जिसके लिए वे युवी से खूब मेहनत करवाते थे. योगराज सिंह खुद एक भारतीय क्रिकेटर रह चुके हैं. वे चाहते थे कि युवी भी भारतीय टीम के लिए खेले और चैंपियन बने. इसके लिए युवराज के पिता उन्हें क्रिकेट की कड़ी ट्रेनिंग देते थे. शॉर्ट पिच गेंदों का सामना करने के लिए तैयार करते हुए योगराज सिंह भीगी हुई टेनिस गेंदों से बिना हेलमेट के गेंदबाजी कराते थे.

अर्जुन अवॉर्ड से सम्मानित

पूर्व भारतीय क्रिकेटर युवराज सिंह ने अपने क्रिकेट के करियर के दौरान कई बड़ी उपलब्धियां हासिल कीं. इसके लिए भारत सरकार ने युवराज सिंह को ‘अर्जुन अवार्ड’ से भी सम्मानित किया है. इसके अलावा साल 2014 में युवराज सिंह को पद्मश्री अवॉर्ड से भी सम्मानित किया था.

यूवीकैन फाउंडेशन चलाते हैं यूवी

साल 2011 वर्ल्ड कप के दौरान युवराज सिंह लंग कैंसर की बीमारी से जूझ रहे थे. इसके इलाज के लिए युवराज सिंह को लंबे समय तक क्रिकेट से दूर रहना पड़ा था. हालांकि उन्होंने कैंसर की बीमारी के साथ भारत के लिए वर्ल्ड कप खेला. युवराज सिंह ने अपने जज्बे और हिम्मत से कैंसर जैसी जानलेवा बीमारी को भी मात दे दिया. इसके बाद युवी ने ‘यूवीकैन’ नाम से एक फाउंडेशन शुरू किया, जो कैंसर के बारे में जागरूकता फैलाने और रोगियों की मदद करने का काम करता है.

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