संबंधित खबरें
Jammu and Kashmir: बडगाम में खाई में गिरी BSF जवानों की बस, 4 जवान शहीद, 32 घायल
मेरठ में बड़ा हादसा, तीन मंजिला मकान गिरने से कई घायल, मलबे में दबे पशु
किस दिन होगा केजरीवाल की किस्मत का फैसला? इस घोटाले में काट रहे हैं सजा
No Horn Please: हिमचाल सरकार का बड़ा फैसला, प्रेशर हॉर्न बजाने पर वाहन उठा लेगी पुलिस
Himachal News: बेरोजगार युवाओं के लिए अच्छे दिन! जानें पूरी खबर
Rajasthan: चेतन शर्मा का इंडिया की अंडर-19 टीम में चयन, किराए के मकान में रहने के लिए नहीं थे पैसे
इंडिया न्यूज़ (दिल्ली) : दिल्ली में साल 2020 में हुए हिंदू विरोधी दंगे से जुड़े एक मामले में दिल्ली की कड़कड़डूमा कोर्ट ने आरोपित उमर खालिद और खालिद सैफी को बरी कर दिया है। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश पुलस्त्य प्रमाचला ने यह फैसला सुनाया। दिल्ली पुलिस के कांस्टेबल संग्राम सिंह के बयान के आधार पर इस मामले में एफआईआर दर्ज की गई थी।
रिपोर्ट्स के मुताबिक 25 फरवरी, 2020 को जेएनयू के पूर्व छात्र उमर खालिद और यूनाइटेड अगेंस्ट हेट के संस्थापक खालिद सैफी के खिलाफ पथराव और पार्किंग स्थल पर वाहनों में आग लगाने का मामला दर्ज किया गया था। कांस्टेबल संग्राम सिंह के बयान के मुताबिक फरवरी 2020 में चांद बाग पुलिया के पास भारी भीड़ जमा हुई थी। भीड़ ने पत्थरबाजी की थी। उस भीड़ की अगुआई उमर खालिद और खालिद सैफी कर रहे थे।
FIR के मुताबिक, पथराव और हिंसा के बीच जब ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मी जान बचाने के लिए एक पार्किंग स्थल में घुसे थे तो भीड़ ने पार्किंग में घुसकर पुलिसकर्मियों पर हमला किया और गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया था। रिपोर्ट्स के मुताबिक गवाहों और दूसरे स्रोतों से घटनास्थल पर उमर खालिद और खालिद सैफी की मौजूदगी साबित नहीं हो पाई। कोर्ट ने सुनवाई के बाद दोनों को आरोपमुक्त कर दिया।
जानकारी दें, हिन्दू विरोधी दंगा मामले में आरोपमुक्त होने के बावजूद, दिल्ली एंटी हिंदू दंगो के दोनों आरोपित जेल में ही रहेंगे। क्योंकि दोनों दिल्ली दंगों से जुड़े दूसरे मामलों में भी आरोपित हैं। उमर खालिद पर दंगो की साजिश रचने के आरोप में गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम कानून (UAPA) के तहत भी मामला दर्ज है। ये विषय फिलहाल अदालत में लंबित हैं।
दिल्ली के करावल नगर थाने ने दंगा फैलाने, आपराधिक साजिश रचने समेत भारतीय दंड संहिता के कई प्रावधानों, आर्म्स एक्ट और सरकारी संपत्ति नुकसान रोकथाम अधिनियम की धाराओं के तहत इन दोनों आरोपियों के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज की थी। बाद में मामले की जाँच अपराधिक शाखा ने की थी।
आपको बता दें, दिल्ली पुलिस लगातार उमर खालिद की जमानत का विरोध कर रही है। हाल में एक मामले में उमर की अंतरिम जमानत की माँग वाली याचिका का विरोध करते हुए दिल्ली पुलिस ने कहा था कि संभावना है कि उमर अंतरिम जमानत के दौरान सोशल मीडिया से गलत जानकारी फैला सकता है। ज्ञात हो, उमर खालिद को 13 सितंबर, 2020 को गिरफ्तार किया गया था। जिसके के बाद से वो जेल में सलाखों के पीछे है।
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.