India News (इंडिया न्यूज), Delhi Politics: भारतीय राजनीति में अक्सर नेता ऐसे बयान दे देते हैं, जो लंबे समय तक चर्चा में रहते हैं। जानकारी के अनुसार, खासकर महिलाओं से जुड़े मुद्दों पर बयानबाजी कई बार विवाद का कारण बनती है। आइए जानते हैं कुछ ऐसे ही विवादित बयानों के बारे में, जिन्होंने विधानसभा चुनाव से पहले सियासी पारा चढ़ा दिया।
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बता दें, हाल ही में भाजपा नेता रमेश बिधूड़ी ने दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी के खिलाफ विवादित टिप्पणी की, जिससे राजनीतिक माहौल गरमा गया। बिधूड़ी के बयान पर आप ने कड़ा पलटवार किया और भाजपा पर महिलाओं का अपमान करने का आरोप लगाया। ऐसे में, महिलाओं पर दिए गए ऐसे विवादित बयान न केवल राजनीतिक गरिमा को ठेस पहुंचाते हैं, बल्कि साथ-साथ समाज में गलत संदेश भी देते हैं। राजनीतिक दलों और नेताओं को महिलाओं के प्रति संवेदनशीलता दिखाने और जिम्मेदार बयान देने की जरूरत है।
जानकारी के मुताबिक, साल 2014 में समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव ने एक रैली में लड़कियों के साथ होने वाले यौन शोषण को लेकर विवादित बयान दिया था। उन्होंने शारीरिक उत्पीड़न के लिए मृत्युदंड के प्रावधान का विरोध करते हुए कहा था, “लड़कियां पहले दोस्ती करती हैं, फिर मतभेद हो जाने पर लड़कों पर आरोप लगाती हैं। लड़कों से गलती हो जाती है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि उन्हें फांसी दी जाए।” इस बयान पर अनगिनत प्रतिक्रिआएं आईं थीं, साथ ही इस बयान की जमकर आलोचना हुई थी। इसके बाद कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने 2013 में मध्य प्रदेश के मंदसौर की एक जनसभा में क्षेत्र की सांसद मीनाक्षी नटराजन को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी।
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