India News (इंडिया न्यूज), Rich Temples of India: भारतीय परंपरा और इतिहास में मंदिरों का विशेष महत्व होता है। यह हमारी आस्था के साथ-साथ देश की समृद्ध धार्मिक विरासत का भी प्रतीक है। वहीं इसी को लेकर कर्नाटक राज्य विधानसभा में बुधवार को कर्नाटक हिंदू धार्मिक संस्थान और धर्मार्थ बंदोबस्ती विधेयक 2024 पारित किया गया है। जिसके बाद बीजेपी ने कर्नाटक में कांग्रेस सरकार पर हिंदू विरोधी होने का आरोप लगाया। जिसके चलते यह मामला सुर्खियों में बना हुआ है इसी को देखते हुए आज हम आपको देश के 10 ऐसे अमीर मंदिरो के बारे में बताएंगे जहां हर साल करोड़ो का चढ़ावा चढ़ता है।
केरल में मौजुद पद्मनाभ स्वामी मंदिर भारत का सबसे अमीर मंदिर है। यह मंदिर केरल की राजधानी तिरुवनंतपुरम में है। इस मंदिर की देखभाल त्रावणकोर के पूर्व शाही परिवार द्वारा की जाती है। इस मंदिर के खजाने में हीरे, सोने के आभूषण और सोने की मूर्तियाँ शामिल हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक, मंदिर की 6 तिजोरियों में कुल 20 अरब डॉलर की संपत्ति है। इतना ही नहीं, मंदिर के गर्भगृह में भगवान विष्णु की एक विशाल सोने की मूर्ति मौजूद है, जिसकी कीमत 500 करोड़ रुपये है।
आंध्र प्रदेश का तिरुपति बालाजी मंदिर देश के सबसे अमीर मंदिरों की सूची में दूसरे स्थान पर है। वैष्णव संप्रदाय का यह मंदिर दान के मामले में दुनिया का सबसे अमीर मंदिर है। इस मंदिर की वास्तुकला देखने लायक है। यहां हर साल भक्त करीब 650 करोड़ रुपये का दान देते हैं। सिर्फ लड्डुओं का प्रसाद बेचकर ही मंदिर को लाखों रुपए की आमदनी होती है। तिरूपति मंदिर भगवान वेंकटेश्वर को समर्पित है, जिन्हें भगवान विष्णु का अवतार माना जाता है। माना जाता है कि मंदिर में नौ टन सोने का भंडार और विभिन्न बैंकों में 14,000 करोड़ रुपये की सावधि जमा राशि है।
देश के तीसरे स्थान पर महाराष्ट्र के शिरडी में स्थित साईं बाबा मंदिर है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, मंदिर के बैंक खाते में 380 किलो सोना, 4,428 किलो चांदी और डॉलर और पाउंड जैसी विदेशी मुद्राओं के रूप में भारी मात्रा में धन के साथ लगभग 1,800 करोड़ रुपये जमा हैं। 2017 में राम नवमी के अवसर पर एक अज्ञात भक्त द्वारा मंदिर को 12 किलो सोना दान किया गया था। इस मंदिर में हर साल लगभग 350 करोड़ रुपये का दान आता है।
वैष्णो देवी मंदिर को देश के सबसे पवित्र स्थानों में से एक माना जाता है। यह भारत में मान्यता प्राप्त शक्ति पीठ मंदिरों में से एक है। ट्रैवल गाइड टूरमायइंडिया के मुताबिक, इस मंदिर में हर साल 500 करोड़ रुपये का चढ़ावा आता है जिससे यह देश के सबसे अमीर मंदिरों में से एक बन जाता है। हर साल देश-दुनिया से लाखों लोग माता वैष्णो देवी के दर्शन के लिए आते हैं।
देश की आर्थिक राजधानी मुंबई का सिद्धिविनायक मंदिर देश के सबसे प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है। यह मंदिर भगवान गणेश को समर्पित है। यहां बॉलीवुड सेलिब्रिटीज से लेकर बिजनेस टाइकून तक कई सेलिब्रिटीज नजर आते हैं। मंदिर 3.7 किलोग्राम सोने से लेपित है, जिसे कोलकाता के एक व्यापारी ने दान किया था। रिकॉर्ड के मुताबिक, मंदिर को दान और चढ़ावे से सालाना करीब 125 करोड़ रुपये की आय होती है।
यह मंदिर देश के उन चुनिंदा मंदिरों में शामिल है जहां प्रतिदिन 20 से 30 हजार श्रद्धालु दर्शन करने आते हैं। मंदिर की सालाना आय करीब 6 करोड़ रुपये है। इस मंदिर परिसर में लगभग 33,000 मूर्तियां हैं। मुख्य मूर्ति देवी मीनाक्षी की है जो भगवान सुंदरेश्वर (भगवान शिव) की पत्नी हैं। मंदिर में दो सुनहरी गाड़ियां हैं जो इसकी भव्यता को बढ़ाती हैं। यह देश के सबसे अमीर मंदिरों में शामिल है।
पुरी में जगन्नाथ मंदिर भारत के सबसे अमीर मंदिरों में से एक है, जिसे देश के कोने-कोने और यहां तक कि दुनिया भर से अपने भक्तों से भारी दान मिलता है। हालांकि मंदिर की संपत्ति के बारे में सटीक जानकारी किसी को नहीं है, लेकिन अनुमान है कि मंदिर में 100 किलो से अधिक सोने और चांदी की वस्तुएं हैं। प्राचीन मंदिर भगवान जगन्नाथ को समर्पित है और हिंदुओं का एक प्रमुख तीर्थ स्थल है। इसके अलावा यह मंदिर अपने वार्षिक रथ यात्रा उत्सव के लिए भी प्रसिद्ध है। बताया जाता है कि मंदिर को यूरोप के एक भक्त से 1.72 करोड़ रुपये का दान मिला है।
गुजरात का सोमनाथ मंदिर सोमनाथ मंदिर हमेशा से देश के सबसे अमीर मंदिरों में से एक रहा है। यही कारण है कि इसे महमूद गजनवी ने 17 बार लूटा। यह मंदिर आज भी गुजरात के एक समृद्ध मंदिर में गिना जाता है। यह मंदिर गुजरात के सौराष्ट्र क्षेत्र के वेरावल में बना है और भगवान शिव के 12 ज्योतिर्लिंग मंदिरों में से एक है। सोमनाथ में हर साल करोड़ों का चढ़ावा आता है। इसलिए यह भारत के सबसे अमीर मंदिरों में से एक है।
यह भी देश के अमीर मंदिरों की सूची में शामिल है। इस मंदिर में हर साल करीब 10 करोड़ श्रद्धालु आते हैं। यह मंदिर पहाड़ों और घने जंगलों के बीच समुद्र तल से 4,133 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। इस मंदिर की सबसे अनोखी पहचान यह है कि यहां केवल पुरुष ही जा सकते हैं। वहीं, यात्रा सीजन में इस मंदिर में करीब 230 करोड़ रुपये का चढ़ावा आता है।
दिल्ली में कॉमनवेल्थ स्पोर्ट्स विलेज के पास 100 एकड़ जमीन पर बने स्वामीनारायण मंदिर को अक्षरधाम मंदिर भी कहा जाता है। दुनिया के सबसे बड़े हिंदू मंदिर के तौर पर इसका नाम गिनीज बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में भी दर्ज है। इसमें 10,000 साल पुरानी भारतीय संस्कृति, आध्यात्मिकता और वास्तुकला को दर्शाया गया है। इस मंदिर में हर साल लाखों श्रद्धालु आते हैं। मंदिर में भगवान स्वामीनारायण की मूर्ति सोने से बनी है।
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