होम / धर्म / कुंवारी कुंती के गर्भ में आये बिना ही महाभात के उस शूरवीर योद्धा ने कैसे ले लिया था जन्म? आज भी कहानी के हर पन्ने पर है उनका जिक्र

कुंवारी कुंती के गर्भ में आये बिना ही महाभात के उस शूरवीर योद्धा ने कैसे ले लिया था जन्म? आज भी कहानी के हर पन्ने पर है उनका जिक्र

BY: Prachi Jain • LAST UPDATED : December 31, 2024, 4:00 pm IST
ADVERTISEMENT

संबंधित खबरें

कुंवारी कुंती के गर्भ में आये बिना ही महाभात के उस शूरवीर योद्धा ने कैसे ले लिया था जन्म? आज भी कहानी के हर पन्ने पर है उनका जिक्र

The Story Of Karna Birth: कुंवारी कुंती के गर्भ में आये बिना ही महाभात के उस शूरवीर योद्धा ने कैसे ले लिया था जन्म

India News (इंडिया न्यूज), The Story Of Karna Birth: महाभारत की कथा में कर्ण का जन्म एक अत्यंत चमत्कारी और हैरान करने वाली घटना के रूप में प्रस्तुत किया गया है। यह घटना न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि इसे दैवीय शक्तियों और ब्रह्मा की अनंत क्षमता का प्रतीक माना जाता है। कर्ण का जन्म कैसे हुआ, इस पर चर्चा करने से पहले, हमें महाभारत और शास्त्रों में इसकी व्याख्या को समझना जरूरी है।

कर्ण का जन्म – एक चमत्कारी घटना

कर्ण का जन्म महाभारत के एक महत्वपूर्ण अध्याय से जुड़ा हुआ है। यह कहानी उस समय की है जब कुंती, यदुवंशी राजा शूरसेन की पुत्री थीं और एक दिन ऋषि दुर्वासा उनके महल में आए थे। उन्होंने कुंती को एक विशेष वरदान दिया, जिसके तहत कुंती को एक मंत्र सिखाया, जिसके द्वारा वह किसी भी देवता को अपनी इच्छानुसार बुला सकती थीं।

कैसे हमेशा 18 साल की युवती की तरह जवां रहीं द्रौपदी? महाभारत की तेजस्वी स्त्री का क्या था वो राज!

कुंती और सूर्यदेव का मिलन

कुंती, जो पहले ही कुंवारी थीं, एक दिन आकाश में सूर्यदेव को चमकते देख अपनी जिज्ञासा के कारण इस मंत्र का जाप करने का विचार करती हैं। मंत्र का जाप करते ही सूर्यदेव, अपनी अपार ऊर्जा और आभा के साथ, आकाश से नीचे आकर कुंती के सामने प्रकट होते हैं। सूर्यदेव ने कहा, “तुमने मुझे बुलाया है, और अब मैं तुम्हें अपना पुत्र दूंगा, जो शक्तिशाली और पराक्रमी होगा।”

कुंती घबराते हुए सूर्यदेव से कहती हैं, “लेकिन देवता, मैं तो कुंवारी हूं, मेरे पास कोई पति नहीं है, तो इस स्थिति में मेरा पुत्र कैसे हो सकता है?” सूर्यदेव का उत्तर था, “यह कोई सामान्य स्थिति नहीं है, तुमने मुझे आह्वान किया है, और अब मेरा आशीर्वाद तुम्हारे पास है। तुम एक पुत्र को जन्म दोगी, जो मेरे समान शक्तिशाली होगा।”

कर्ण का जन्म एक दिन में

सूर्यदेव के आशीर्वाद से, कुंती ने उसी दिन कर्ण को जन्म दिया। यह एक चमत्कारी घटना थी, जिसमें कुंती के गर्भ में किसी प्रकार का शारीरिक परिवर्तन नहीं हुआ था, लेकिन फिर भी कर्ण का जन्म हुआ। कर्ण के शरीर पर सोने का कवच और कुंडल थे, जो सूर्यदेव की आभा को दर्शाते थे।

साल 2025 के पहले ही दिन पहली प्रायोरिटी पर रखियेगा ये रंग, पूरे साल आपको धन, सम्पत्ति, और ऐश्वर्य से भर देगा आपका किया ये एक काम?

यह पूरी घटना एक दिव्य शक्ति के प्रभाव में हुई थी, और इस प्रकार का जन्म एक सामान्य मानव की प्रक्रिया से परे था।

कर्ण को क्यों यमुना में बहा दिया गया?

कुंती के लिए यह स्थिति बहुत ही कठिन थी, क्योंकि उस समय का समाज अविवाहित माँ से जन्मे बच्चे को स्वीकार नहीं करता था। कुंती को डर था कि लोग उसके और कर्ण के बारे में नकारात्मक बातें करेंगे, इसलिए उसने कर्ण को एक पुआल की टोकरी में रखा और यमुना नदी में बहा दिया।

कर्ण को नदी में बहते हुए अधिरथ और राधा ने पाया और उन्होंने उसे गोद लिया। इस प्रकार कर्ण का पालन-पोषण राधेय के रूप में हुआ और वह महान योद्धा बने, जिनकी पहचान युद्ध के मैदान में वीरता और बल के लिए की जाती है।

क्या बिना गर्भ में आए जन्म संभव हो सकता है?

महाभारत की कथा के अनुसार, कर्ण का जन्म बिना गर्भ में आए हुआ था। इसे एक दैवीय और चमत्कारिक घटना के रूप में ही समझा जा सकता है। यह घटना शास्त्रों में चमत्कारी घटनाओं के रूप में प्रस्तुत की जाती है, जो देवताओं और ऋषियों की शक्तियों से उत्पन्न होती हैं। इसमें मानवीय तर्क का कोई स्थान नहीं होता, क्योंकि यह पूरी घटना दैवीय हस्तक्षेप द्वारा घटित हुई थी।

Today Horoscope: साल का आखिरी मंगल और इन 5 राशियों के लिए शुभ संयोग, जानें किन जातकों के लिए बजरंगबली लाएंगे मौके हजार, देखें आज का राशिफल!

दैवीय शक्तियों और उनके प्रभाव को कैसे समझें?

भारतीय पौराणिक कथाओं में ऐसी घटनाएं अक्सर देखी जाती हैं, जहां देवता और ऋषि अपनी अपार शक्तियों से भौतिक नियमों को बदल सकते हैं। कर्ण का जन्म और पांचों पांडवों का जन्म इसी प्रकार की घटनाओं का हिस्सा हैं, जो सिद्धांतों और भौतिक प्रक्रियाओं से परे होती हैं। यह दिखाता है कि दैवीय शक्तियाँ समय, स्थान और नियमों के पार जाकर काम करती हैं और जो सामान्य मानव जीवन के लिए असंभव प्रतीत होता है, वह इन शक्तियों के प्रभाव में संभव हो जाता है।

क्या यह संभव है कि देवताओं का पुत्र एक दिन में जन्म ले सकता है?

महाभारत में यह स्पष्ट किया गया है कि देवताओं और ऋषियों द्वारा दी गई शक्तियों से संतान का जन्म चमत्कारी रूप से हो सकता है, जैसा कि कर्ण के जन्म में हुआ। चूंकि यह एक दैवीय घटना थी, इसलिए इसमें साधारण गर्भधारण और जन्म की प्रक्रिया का पालन नहीं हुआ। यही कारण है कि कर्ण का जन्म सिर्फ एक दिन में हुआ, और यह घटनाएँ शास्त्रों और पुराणों की चमत्कारी कहानियों का हिस्सा हैं।

बरसो पहले जो खो गया था स्वर्ग का रास्ता, अब आया सामने…क्या पांडवों की तरह अब कलियुग के इंसान भी पा सकेंगे इस रस्ते जाकर मोक्ष

कर्ण का जन्म महाभारत की एक अद्भुत और दैवीय घटना है, जो केवल पौराणिक दृष्टिकोण से समझी जा सकती है। इसे एक चमत्कार के रूप में प्रस्तुत किया गया है, जो देवताओं की शक्ति और उनकी अनंत क्षमता को दर्शाता है। कुंती और सूर्यदेव के बीच का मिलन और कर्ण का जन्म, हमारे लिए एक संकेत है कि कुछ घटनाएँ भौतिक नियमों से परे होती हैं, और उन्हें केवल आध्यात्मिक दृष्टिकोण से ही समझा जा सकता है।

डिस्क्लेमर: इस आलेख में दी गई जानकारियों का हम यह दावा नहीं करते कि ये जानकारी पूर्णतया सत्य एवं सटीक है।पाठकों से अनुरोध है कि इस लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। इंडिया न्यूज इसकी सत्यता का दावा नहीं करता है।

Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.

ADVERTISEMENT

लेटेस्ट खबरें

कड़ाके की ठंड में भी आयोजित हुआ योगी का जनता दर्शन कार्यक्रम, बोले- जनता की समस्याओं पर तत्काल हो कार्रवाई
कड़ाके की ठंड में भी आयोजित हुआ योगी का जनता दर्शन कार्यक्रम, बोले- जनता की समस्याओं पर तत्काल हो कार्रवाई
आज भी हिंदू धर्म में गुमनाम हैं ये 5 देवियां, लेकिन शक्ति ऐसी की बड़े से बड़े राक्षस को भी कर चुकी है चूर
आज भी हिंदू धर्म में गुमनाम हैं ये 5 देवियां, लेकिन शक्ति ऐसी की बड़े से बड़े राक्षस को भी कर चुकी है चूर
भारत की बेटियां खरीदने आते हैं करोड़पति शेख, इस बाजार में एक्सपायरी डेट के साथ बिकती हैं दुल्हनें, इतने में खरीद ले जाते हैं बूढ़े ग्राहक
भारत की बेटियां खरीदने आते हैं करोड़पति शेख, इस बाजार में एक्सपायरी डेट के साथ बिकती हैं दुल्हनें, इतने में खरीद ले जाते हैं बूढ़े ग्राहक
कुरान, बम बनाने का सामान और…, 14 पाप करने वाले शैतान के घर से मिली ये चीजें, जहां बैठकर रची थी साजिश सामने आया वहां का वीडियो
कुरान, बम बनाने का सामान और…, 14 पाप करने वाले शैतान के घर से मिली ये चीजें, जहां बैठकर रची थी साजिश सामने आया वहां का वीडियो
खौफनाक मामला! राजस्थान के खैरथल में कुत्तों के हमले से 7 साल की बच्ची की मौत, शरीर पर आए 50 से ज्यादा घाव
खौफनाक मामला! राजस्थान के खैरथल में कुत्तों के हमले से 7 साल की बच्ची की मौत, शरीर पर आए 50 से ज्यादा घाव
हर मुसीबत में Virat Kohli को खींचकर कहां ले जाती हैं अनुष्का शर्मा? हल हो जाती हैं सारी मुश्किलें
हर मुसीबत में Virat Kohli को खींचकर कहां ले जाती हैं अनुष्का शर्मा? हल हो जाती हैं सारी मुश्किलें
फतेहपुर में हिस्ट्रीशीटर का आतंक, शराब ठेके से विवाद के बाद वृद्ध की हत्या, सोशल मीडिया पर लाइव अपराध ने बढ़ाई पुलिस की मुश्किलें
फतेहपुर में हिस्ट्रीशीटर का आतंक, शराब ठेके से विवाद के बाद वृद्ध की हत्या, सोशल मीडिया पर लाइव अपराध ने बढ़ाई पुलिस की मुश्किलें
Delhi Politics: दिल्ली में मंदिर तोड़ने की योजना पर छिड़ी बहस! LG और AAP हुए आमने-सामने
Delhi Politics: दिल्ली में मंदिर तोड़ने की योजना पर छिड़ी बहस! LG और AAP हुए आमने-सामने
कोहरे की सफेद चादर में गायब हुआ ताजमहल, विजिबिलिटी बेहद कम होने से पर्यटक परेशान
कोहरे की सफेद चादर में गायब हुआ ताजमहल, विजिबिलिटी बेहद कम होने से पर्यटक परेशान
अजमेर में किडनैप का अनोखा मामला, युवती ने सही समय पर चलाया ऐसा दिमाग, जानें क्या किया ? 
अजमेर में किडनैप का अनोखा मामला, युवती ने सही समय पर चलाया ऐसा दिमाग, जानें क्या किया ? 
Himachal Hospital: IGMC शिमला में स्वास्थ्य सेवाएं ठप, 500 से अधिक कर्मचारी हड़ताल पर, मरीजों को हो रही भारी परेशानी
Himachal Hospital: IGMC शिमला में स्वास्थ्य सेवाएं ठप, 500 से अधिक कर्मचारी हड़ताल पर, मरीजों को हो रही भारी परेशानी
ADVERTISEMENT