India News (इंडिया न्यूज), Amarnath Yatra: नेशनल कॉन्फ्रेंस के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने मंगलवार (23 जुलाई) को कहा कि अमरनाथ यात्रा मुसलमानों के बिना पूरी नहीं हो सकती। उन्होंने कांवड़ मार्ग पर मुस्लिम दुकानों के आगे नेम प्लेट लगाने के आदेश पर रोक लगाने के सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया। साथ ही कहा कि अमरनाथ यात्रा मार्ग पर ऐसा नहीं किया जा सकता। उमर अब्दुल्ला ने कहा कि अगर मुसलमानों को कांवड़ यात्रा से दूर रखने का आदेश जारी किया गया था, तो भगवान भला करे। लेकिन अगर अमरनाथ यात्रा होती है, तो वह मुसलमानों के बिना नहीं हो सकती। उन्होंने आगे कहा कि कांवड़ यात्रा के संबंध में ऐसा आदेश जारी नहीं किया जाना चाहिए।
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने अमरनाथ और वैष्णो देवी यात्रा की ओर इशारा करते हुए कहा कि ये यात्राएं मुसलमानों के बिना आयोजित नहीं की जा सकतीं। उन्होंने कहा कि अमरनाथ यात्री मुसलमानों के कंधों पर बैठकर यात्रा करते हैं। वे लोग कौन हैं जो उन्हें घोड़ों और पीठ पर बिठाकर माता वैष्णो देवी के दर्शन कराते हैं? वे किस समुदाय से हैं? भाजपा वहां धर्म को क्यों नहीं देखती? दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में मुस्लिम दुकानों के सामने नेमप्लेट लगाने के आदेश पर रोक लगा दी थी। कोर्ट ने स्पष्ट किया था कि इस तरह के आदेश जारी नहीं किए जाने चाहिए। इन दोनों राज्यों में कांवड़ मार्ग पर मुस्लिम दुकानों को अपनी दुकानों के सामने मालिक के नाम वाली नेमप्लेट लगाने का आदेश दिया गया था।
Amarnath Yatra
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बता दें कि, सरकारी कर्मचारियों के आरएसएस के कार्यक्रमों में भाग लेने पर प्रतिबंध हटाने के केंद्र के फैसले के बारे में पूछे जाने पर नेशनल कॉन्फ्रेंस नेता ने कहा कि अगर उन्हें ऐसा करना ही है। तब राजनीतिक दलों के कार्यक्रमों में भाग लेने वाले कर्मचारियों पर प्रतिबंध भी हटा देना चाहिए, क्योंकि आरएसएस एक राजनीतिक संगठन है। उन्होंने कहा आगे कहा कि ऐसा आदेश राजनीतिक दलों के लिए भी जारी किया जाना चाहिए। सरकारी कर्मचारियों को राजनीतिक दलों में शामिल होने दें।
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