India News (इंडिया न्यूज), Assam Bans Beef: असम में मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने गौमांस पर प्रतिबंध लगा दिया है। मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बुधवार 04 दिसंबर को खुद इसकी घोषणा की। उन्होंने बताया कि यह निर्णय लिया गया है कि असम के किसी भी रेस्टोरेंट या होटल में गौमांस नहीं बनाने की आज्ञा नहीं होगी। इसके अलावा किसी भी सार्वजनिक स्थान या समारोह में भी इसपर पूरी तरह से बैन लगा दिया गया है। आइए जानते हैं अब तक कि देश के किन राज्यों में गोहत्या पर प्रतिबंध है और इससे जुड़ा विवाद कब उठा?
उत्तर प्रदेश, हरियाणा, कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, उत्तराखंड, राजस्थान, मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, दिल्ली और चंडीगढ़ में गोहत्या पर प्रतिबंध लागू है। इन राज्यों में गोहत्या कानून का उल्लंघन करने पर सबसे कठोर सजा का प्रावधान भी किया गया है। इनमें से हरियाणा में सबसे ज्यादा एक लाख रुपये का जुर्माना और 10 साल की जेल का प्रावधान है। इसके अलावा महाराष्ट्र में गोहत्या पर 10,000 रुपये का जुर्माना और पांच साल की जेल की सजा तय है। छत्तीसगढ़ के अलावा इन राज्यों में भैंस के वध पर कोई प्रतिबंध नहीं है, जहां गोहत्या प्रतिबंधित है। इनके अलावा झारखंड, बिहार, तेलंगाना, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु, गोवा और दमन-दीव, दादरा और नगर हवेली, पुडुचेरी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में गोहत्या पर आंशिक प्रतिबंध है।
Assam Bans Beef: असम में मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने गौमांस पर लगाया प्रतिबंध
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गोहत्या पर पूर्ण प्रतिबंध का मतलब है कि गाय और बछड़े को नहीं मारा जा सकता। हालांकि, कुछ जगहों पर बैल, बैल और भैंसों को काटने और खाने की अनुमति है। इसके लिए भी यह जरूरी है कि पशु को फिट फॉर स्लॉटर सर्टिफिकेट दिया गया हो। यह सर्टिफिकेट पशु की उम्र, उसके काम करने और संतान पैदा करने की क्षमता को देखकर दिया जाता है। असम में कानून का उल्लंघन करने पर 3 से 8 साल की सजा और 3,00,000 से 5,00,000 रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान है।
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जब भी अलग-अलग राज्यों में बीफ पर प्रतिबंध लगाने की कोशिश हुई है, इसे लेकर हंगामा हुआ है। साल 2015 में महाराष्ट्र और हरियाणा में बीफ पर प्रतिबंध की घोषणा पर काफी विरोध प्रदर्शन हुए थे। यूपी में भाजपा की सरकार बनने के बाद बूचड़खानों पर प्रतिबंध लगाया गया था, तब भी काफी हंगामा हुआ था। कई राज्यों में भीड़ ने बीफ के आरोप में कुछ लोगों की हत्या भी कर दी है। साल 2015 में महाराष्ट्र में गोहत्या पर प्रतिबंध लगाने वाला कानून लागू किया गया था। इसके लागू होने से कुछ हफ्ते पहले ही हरियाणा में भी गोहत्या के खिलाफ कानून पारित किया गया था।