India News (इंडिया न्यूज), अजय त्रिवेदी, लखनऊ: उत्तर प्रदेश की योगी सरकार पीतल नगरी के नाम से मशहूर मुरादाबाद में औद्योगिक एवं लॉजिस्टिक पार्क के साथ ही हस्तशिल्पियों के लिए हस्तशिल्प ग्राम और ब्रासवेयर की छोटी व मझोली इकाईयों के क्लस्टर बनाएगी। मुरादाबाद को सुनियोजित ढंग से विकसित किए जाने पर सरकार करीब 41000 करोड़ रुपये खर्च करेगी। प्रदेश सरकार की योजना 2031 तक पीतल नगरी मुरादाबाद को वाइब्रैंट इकोनॉमिक हब के तौर पर विकसित करने की है। इसके तहत मुरादाबाद के लिए महायोजना 2031 तैयार की गयी है जिसमें अगले सात साल में इस शहर का खाका बदलने की योजना है।
मुख्यमंत्री के सामने पेश की गयी रिपोर्ट में मुरादाबाद में हस्तशिल्प ग्राम, मेगा एमएसएमई क्लस्टर, इंडस्ट्रियल लॉजिस्टिक पार्क, नॉलेज सिटी व मेडीसिटी के साथ ही 55 एकड़ में उत्तर प्रदेश राज्य विश्वविद्यालय के निर्माण की बात कही गई है। इसके अलावा औद्योगिक आवश्यकताओं के लिए कौशल विकास केंद्र, निर्यातकों व निवेशकों की सुविधा के लिए ऑडिटोरियम और कन्वेंशन सेंटर, 1200 हेक्टेयर में मेगा टाउनशिप ‘शिवालिक’ और 130 हेक्टेयर में औद्योगिक संग मिश्रित उपयोग और 50 हेक्टेयर में आवासीय आत्याधुनिक टाउनशिप का भी प्रस्ताव है। इसके साथ ही स्पोट्स सिटी, आयुष पार्क, शुगरकेन प्रोसेसिंग क्लस्टर, कैटल कॉलोनी, मत्स्य मंडी और ट्रांसपोर्ट नगर का भी प्रस्ताव है।
moradabad brass market
Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश में महिला को बीच सड़क पर पीटा, लोग बनाते रह गए वीडियो; आरोपी गिरफ्तार
औद्योगिक विकास विभाग के अधिकारियों ने बताया कि महायोजना 2031 के लिए मुरादाबाद में वर्तमान में 18017 करोड़ रुपए की अल्पकालिक और 13027 करोड़ रुपए की मध्यम अवधि की साथ ही 10749 करोड़ रुपए की दीर्घकालिक परियोजनाएं संचालित का जाएंगी। इनमें से कई परियोजनाओं पर वर्तमान में काम हो रहा है। उन्होंने कहा कि महायोजना के तहत पीतल का काम करने के लिए विशेष सुविधाएं, बाजार और अन्य चीजें विकसित की जाएंगी। हस्तशिल्प ग्राम में एक स्थान पर सैकड़ों छोटे शिल्पियों को अपना उत्पाद प्रदर्शित करने की सुविधा मिलेगी तो खरीददारों को भी एक छत के नीचे कई तरह के उत्पाद मिल जाएंगे।
Uttar Pradesh: मेरठ में स्विमिंग पुल के अंदर नहा रहे नाबालिग की मौत, पुलिस कर रही जांच
महायोजना में इस बात का उल्लेख है कि वर्तमान में 13.14 लाख की आबादी वाले शहर की जनसंख्या 2031 में तकरीबन 16.66 लाख हो जाएगी। इसे ध्यान में रखते हुए मुरादाबाद की भावी आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए सुदृढ़ आर्थिक आधार का निर्माण, सामाजिक-सांस्कृतिक एवं भौतिक इन्फ्रास्ट्रक्चर सुविधाओं का विकास किया जाना है। अभी शहर के विकास क्षेत्र से बाहर एसईजेड को नगर के अंदर मौजूद औद्योगिक क्षेत्र से जोड़ने के लिए 36 मीटर चौड़े औद्योगिक गलियारे का भी विकास किया जाएगा। गौरतलब है कि पीतल नगरी के नाम से विख्यात मुरादाबाद के पीतल उत्पादों पर बने डिजाइन संस्कृति, विरासत, इतिहास और विविधता को विश्वभर में प्रदर्शित करते हैं। यहां से विश्वभर में पीतल के उत्पाद निर्यात किये जाते हैं।
Maharashtra: तेज बारिश से फुटबॉल ग्राउंड पर आ गिरा टीनशेड, 7 बच्चे घायल; अस्पताल पहुंचे विधायक