इंडिया न्यूज़, गुजरात :
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को कहा कि भारत तब तक आत्मनिर्भर नहीं बन सकता जब तक कि ग्रामीण विकास को देश की अर्थव्यवस्था में योगदान नहीं दिया जाता। ग्रामीण प्रबंधन संस्थान, आणंद (आईआरएमए) के 41वें दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए शाह ने कहा कि संस्थान शिक्षा और पेशेवर प्रबंधन में नवाचारों के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्र को मजबूत करने में प्रमुख भूमिका निभा रहा है।
उन्होंने कहा कि ग्रामीण विकास का पहलू गांवों को सुविधाजनक बनाना है। इसके लिए गांवों का रिमोट कनेक्टिविटी जरूरी है। गांवों में पहले बिजली नहीं थी, हमने गांवों को बिजली के कनेक्शन दिए।
गांधी जी ने कहा था कि देश की आत्मा गांवों में बसती है : शाह
महात्मा गांधी का हवाला देते हुए शाह ने कहा कि गांधी जी ने कहा था कि देश की आत्मा गांवों में बसती है। देश कभी भी आत्मनिर्भर नहीं बन सकता जब तक कि ग्रामीण विकास को देश की अर्थव्यवस्था में योगदानकर्ता नहीं बनाया जाता।” उन्होंने कहा कि केंद्र की प्राथमिकता ग्रामीण विकास को गति देना और गांवों में रहने वाले प्रत्येक व्यक्ति के लिए समृद्धि लाना है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने देश के हर घर में बिजली, साफ पानी और शौचालय उपलब्ध कराने का काम किया है।
तक व्यक्ति का विकास नहीं होगा, तब तक गांव का विकास नहीं हो सकता : शाह
शाह ने कहा कि जब तक व्यक्ति का विकास नहीं होगा, तब तक गांव का विकास नहीं हो सकता है। जब तक क्षेत्र का विकास नहीं होगा, गांव का विकास नहीं हो सकता है। व्यक्ति के जीवन को सुविधाजनक बनाना, क्षेत्र और गांव का विकास करना, तभी यह ग्रामीण विकास का सपना साकार होता है। यह तब शुरू हुआ जब 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सत्ता में आए।” उन्होंने कहा कि केंद्र ने पिछले आठ वर्षों में देश के कोने-कोने में करोड़ों लोगों के बैंक खाते खोले हैं।
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