India News (इंडिया न्यूज़), Swami Prasad Maurya: समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने आज (मंगलवार) पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव का पद छोड़ने की घोषणा की है। सपा प्रमुख अखिलेश यादव को लिखे अपने इस्तीफे में स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि वह बिना किसी पद के पार्टी को मजबूत करने के लिए काम करते रहेंगे।
इसी के साथ मौर्य ने विपक्षी दलों के हमलों का सामना करने पर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से समर्थन की कमी पर आश्चर्य व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि “मैं समझ नहीं पा रहा हूं कि एक राष्ट्रीय महासचिव के रूप में मेरा कोई भी बयान व्यक्तिगत कैसे हो जाता है। जबकि अन्य राष्ट्रीय महासचिव और नेता भी हैं जिनका हर बयान पार्टी का बयान बन जाता है। यह हैरान करने वाली बात है कि समान स्तर के अधिकारियों के बीच, कुछ बयानों को व्यक्तिगत और दूसरों को पार्टी के बयान कैसे माना जाता है।”
Swami Prasad Maurya
गौरतलब है कि स्वामी प्रसाद मौर्य रामचरितमानस और अयोध्या मंदिर प्रतिष्ठा समारोह को लेकर विवादित बयान देने के लिए जाने जाते रहे हैं। उन्होंने कहा कि “अगर राष्ट्रीय महासचिव के पद पर भी भेदभाव होता है तो मेरा मानना है कि ऐसे भेदभावपूर्ण और महत्वहीन पद पर बने रहने का कोई औचित्य नहीं है। संविधान को बचाने और देश की राष्ट्रीय संपत्तियों को निजी हाथों में बेचने के विरोध में राज्यव्यापी यात्रा कार्यक्रम रथ यात्रा के उनके प्रस्ताव को आगे नहीं बढ़ाया गया।
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