संबंधित खबरें
महाराष्ट्र फतह के बाद फिर से चुनावी तैयारी में जुटे Fadnavis, शरद पवार ने सीधे CM को कर दिया कॉल, राज्य की राजनीति में अभी नहीं थमा है तूफान
GST Council Meeting Highlights: कौड़ियों के दाम में मिलेंगी ये चीजें, निर्मला सीतारमण के इस फैसले से खुशी से उछल पड़े सभी वर्ग के लोग
हिमंत सरकार ने की बड़ी कार्रवाई, असम में 24 घण्टें में 416 लोगों को किया गया गिरफ्तार, बाकी राज्यों के लिए बना रोल मॉडल
कांग्रेस के बुरे दिन बरकरार! हरियाणा, महाराष्ट्र के बाद इस राज्य से आई बुरी खबर, सहयोगी ने ही दे दिया बड़ा घाव
विपक्ष के लगातार अमित शाह पर किए जा रहे हमलों का बीजेपी ने निकाला तोड़, पार्टी जल्द शुरू करेगी ये काम, कांग्रेस और सपा की उड़ने वाली है नींद
'वीटो लगाने की अनुमति नहीं देगा…' जाने बिना नाम लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने किस देश की लगा दी क्लास?
Gati Shakti Master Plan, pm gati shakti master plan, what is gati shakti master plan
इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
पिछले 3 सालों से प्रधानमंत्री गणतंत्रता दिवस पर जिस मास्टर प्लान की बात करते आ रहे थे आखिरकार 100 लाख करोड़ के उसी राष्ट्रीय मास्टर प्लान प्रधानमंत्री गति शक्ति योजना को लॉन्च कर दिया गया है। इसके अंर्तगत जहां औद्योगिक गतिविधियों को बढ़ावा दिया जाएगा। वहीं इस योजना से एयरपोर्ट, सड़क और रेल यातायात की व्यवस्था में सुधार होने की उम्मीद जताई जा रही है। सबसे अहम बात कि मास्टर प्लान में बेरोजगारों युवाओं को भी रोजगार के अवसर प्राप्त होने की संभावनाएं बनेंगी जो कि एक अहम कदम होगा।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वर्ष 2019 में बजट पेश करते हुए 100 लाख करोड़ के लिए इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स की घोषणा की थी। जो कि पंचवर्षीय योजना यानि कि 2019-20 से लेकर 2024-25 तक खर्च किए जाएंगे। इस नेशनल इन्फ्रास्ट्रक्चर पाइपलाइन की योजना के लिए टास्क फोर्स बनाई गई थी। जिसने अप्रैल 2020 में अपनी रिपोर्ट जमा करवाते हुए 111 लाख करोड़ के निवेश की जरूरत बताई थी।
जानकार बताते हैं कि मास्टर प्लान में खर्च होने वाली रकम में से 39% देगी केंद्र सरकार देगी वहीं 40% का भुगतान राज्य सरकारों को करना होगा और बचे हुए 21% का फंड निजी क्षेत्रों से जुटाया जाएगा। वहीं 61 प्रतिशत पैसे राज्य सरकारों व प्राइवेट खिलाड़ियों से लिए जाने की बात कही जा रही है।
पीएम के सपनों को उड़ान देने के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म बनाया जाएगा। जिसे 2024-25 तक पूरा किया जाना है। इसमें रेलवे, रोडवेज सहित 16 मंत्रालयों को शामिल किया जाएगा। जिससे कि इन्फ्रास्ट्रक्चर कनेक्टिविटी प्रोजेक्ट्स की इंटीग्रेटेड प्लानिंग और इम्प्लीमेंटेशन किया जा सके। इससे विकास कार्यों को गति देने का प्रयास किया जाएगा। योजना से जुड़े विकास कार्यों की जियोग्राफिक इन्फॉर्मेशन सिस्टम मोड में डाल दिया गया है।
गति शक्ति पहल की शुरूआत करते हुए, पीएम मोदी ने मैक्रो प्लानिंग और सूक्ष्म कार्यान्वयन के बीच व्यापक अंतर के बारे में बताया था। साथ ही समन्वय की कमी, अग्रिम जानकारी की कमी पर चर्चा की थी। सोच और काम करने से बजट की बर्बादी और निर्माण में बाधा उत्पन्न होने के पहलुओं पर चर्चा की थी।
इसका उद्देश्य सभी संबंधित विभागों को एक मंच पर जोड़कर परियोजनाओं को अधिक गति और शक्ति देना है। गति शक्ति पहल दूसरे कार्यकाल में मोदी सरकार की प्रमुख पहलों के बड़े पैमाने पर बुनियादी ढांचे को आगे बढ़ाने का एक महत्वपूर्ण हिस्सा रही है।
100 लाख करोड़ रुपये के राष्ट्रीय मास्टर प्लान में 11 औद्योगिक गलियारे शामिल हैं। जो रक्षा उत्पादन में 1.7 लाख करोड़ रुपये का कारोबार हासिल कर रहे हैं और 2024-25 तक 38 इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण क्लस्टर और 109 फार्मा क्लस्टर हैं।
यह सभी बुनियादी ढांचा मंत्रालयों के लिए 2024-25 तक के लक्ष्य तय करेंगे। सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय की तरह, 2 लाख किलोमीटर के राष्ट्रीय राजमार्गों का लक्ष्य है। तटीय क्षेत्रों के साथ 5,590 किलोमीटर के चार या छह लेन के राष्ट्रीय राजमार्गों को पूरा करना और उत्तर-पूर्व में सभी राज्यों की राजधानियों को चार- लेन राष्ट्रीय राजमार्ग या दो दो लेन राष्ट्रीय राजमार्ग शामिल हैं।
शक्ति मास्टर प्लान में सबसे अधिक हिस्सेदारी एनर्जी सेक्टर की है जो कि 24 प्रतिशत के हिसाब से सबसे अधिक है। वहीं रोड की 19 फीसदी भागीदारी रहेगी जिससे कि सड़क व्यवस्था को ओर बेहतर बनाया जाएगा। इसी प्रकार इन्फ्रास्ट्रक्चर की 16 और रेलवे के प्रोजेक्ट की 13 प्रतिशत हिस्सेदारी रहेगी।
Also Read : OPPO Foldable Smartphone ओप्पो जल्द लॉन्च कर सकता है अपना पहला फोल्डेबल स्मार्टफोन
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई प्रोजेक्ट पहले ही शुरू कर दिए थे, जिन्हें मास्टर प्लान योजना में शामिल किया गया है। जिसमें 2017 में शुरू भारतमाला प्रोजेक्ट, 2015 की सागरमाला प्रोजेक्ट, 2016 की उड़ान योजना के साथ-साथ 2015 में लॉन्च की गई रेल नेटवर्क, इनलैंड वाटरवे और भारत नेट जैसी योजनाएं शामिल हैं। गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान नया नहीं है, यह एक तरह का ढांचा बनाया गया है।
इसके माध्यम से मूलढांचा परियोजनाओं पर निगरानी रखने की नीति सरकार ने बनाई है। जिससे कि चल रही कार्यों को बेहतर तरीके से लागू किया जा सके। केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने वर्ष 2020 में बताया था कि शामिल की गई परियोजनाओं में 40 प्रतिशत कार्य ऐसे हैं जहां काम चल रहा है। 30% प्रोजेक्ट ऐसे हैं जिनका कॉन्सेप्ट तैयार है। 20% प्रोजेक्ट्स ऐसे हैं जिनको चिह्नित कर डीटेल तैयार कर ली गई है, लेकिन उनके लिए अभी फंड नहीं जुटाया जा सका है। वहीं, 10 प्रतिशत परियोजनाओं को चिह्नित किया जाना बाकी है।
योजना से जुड़े अधिकारियों के अनुसार इससे मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी पर काम किया जाएगा जिससे कि दूरस्थ क्षेत्रों में कम समय में आसानी से पहुंचा जा सके। जिससे कि जनता व कारोबारियों को सहुलियत पहुंचे। यह प्लान मौजूदा व शुरू होने वाली परियोजनाओं का मिश्रण है। जिससे कि व्यापार के क्षेत्र में नई क्रांति आने की उम्मीद लगाई जा रही है। गति से शक्ति वाले इस प्लान में 200 से अधिक एयरपोर्ट, हेलीपोर्ट का निर्माण, 2 लाख किलोमीटर तक नेशनल हाईवे नेटवर्क को बढ़ाना, गैस पाइप लाइन नेटवर्क को 35 हजार किलोमीटर की गैस पाइप लाइन को बिछाना शामिल है।
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.