Written By: Manu Sharma
PUBLISHED BY: Ashish kumar Rai • LAST UPDATED : December 25, 2024, 10:07 pm ISTसंबंधित खबरें
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India News (इंडिया न्यूज) Mangla Pashu Bima Yojana: मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा ने प्रदेश के पशुपालकों के हितों को ध्यान में रखते हुए उनके अमूल्य पशुधन का बीमा कर पशुपालकों को वित्तीय सुरक्षा एवं आर्थिक सुदृढ़ीकरण प्रदान करने के दृष्टिगत वित्तीय वर्ष 2024-25 में राज्य सरकार द्वारा की गई बजट घोषणा द्वारा मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना अंतर्गत पांच-पांच लाख दुधारू गाय, भैंस, भेड़, बकरी एवं एक लाख ऊँटों सहित कुल 21 लाख पशुओं का बीमा कवरेज निःशुल्क प्रदान किया जा रहा है। इस योजना में 400 करोड रूपये का व्यय राज्य सरकार वहन करेगी।
पशुपालन विभाग के डॉ हरिकेश मीणा ने बताया कि बजट घोषणा वर्ष 2024-25 अनुसार मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजनान्तर्गत दुधारू गाय, भैंस, भेड़, बकरी एवं ऊँट का बीमा निःशुल्क किया जा रहा है। मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना के तहत अपने पशुधन का बीमा कराने वाले इच्छुक जनाधार कार्ड धाकर पशुपालक 13 दिसम्बर से 12 जनवरी, 2025 तक अपना ऑनलाइन पंजीकरण मोबाइल एप MMPBY https://mmpby.rajasthan.gov.in/ पोर्टल पर आप स्वयं अथवा ई-मित्र के माध्यम से कर सकते हैं।
पशुधन बीमा के लिए निर्धारित संख्या से अधिक पशुपालकों का पंजीकरण होने की स्थिति में नियत तिथि तक ऑनलाइन पंजीकृत पशुपालकों की लॉटरी निकाली जाकर चयन किया जायेगा। योजना के तहत लॉटरी में चयनित पात्र एवं योग्य पशुपालकों को पशुधन का बीमा ही किया जा सकेगा।
उन्होंने बताया कि ऑनलाइन पंजीकरण हेतु नियत अंतिम तिथि के पश्चात पोर्टल स्वतः ही बंद हो जायेगा। पंजीकरण के लिए ऑफलाइन आवेदन किए जाने हेतु किसी प्रकार की व्यवस्था नहीं है। उन्होंने जिले के समस्त पशुपालकों से अपील करते हुए कहा कि आज से ही अपना ऑनलाइन पंजीकरण http://mmpby.rajasthan.gov.in/ पोर्टल पर कराएं। योजना की विस्तृत जानकारी पशुपालन विभाग की वेबसाइट www.animalhusbandry.rajasthan.gov.in अथवा राज्य बीमा एवं प्रावधायी निधि विभाग की वेबसाइट www.sipf.rajasthan.gov.in पर भी उपलब्ध है।
मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना का उद्देश्यः
– प्रदेश के पशुपालकों के अमूल्य पशुधन का निःशुल्क बीमा कर पशुपालकों को आर्थिक सुरक्षा प्रदान करवाना।
– प्रथमतः 5-5 लाख दुधारू गाय/भैंस, 5-5 लाख भेड़ बकरी तथा 1 लाख उष्ट्र वंशीय पशु (ऊंट) का बीमाकर बीमा कवरेज प्रदान करवाना।
– बीमित पशु की मृत्यु हो जाने पर पशुपालकों को बीमा धन राशि का पुनर्भरण होने पर पशुपालक को वित्तीय हानि से बचाना तथा आर्थिक सम्बल उपलब्ध करवाना।
पशुपालन विभाग के डॉ. हरिकेश मीणा ने बताया कि योजनान्तर्गत लाभ प्राप्त किये जाने हेतु राजस्थान राज्य के समस्त जनाधार कार्ड धारक पशुपालक पात्र होगें तथा इन पशुपालकों द्वारा बीमा विभाग से प्रदत एप में योजना लाभ हेतु आवेदन किया जायेगा तथा लॉटरी द्वारा चयनित पशुपालको के पशु का निःशुल्क बीमा किया जायेगा। योजनान्तर्गत राज्य के समस्त गोपाल क्रेडिट कार्ड धारक पशुपालक, समस्त लखपती दीदी पशुपालकों को प्रथम प्राथमिकता से लाभान्वित किया जायेंगा।
योजनान्तर्गत पशुपालक बीमा हेतु केवल टैग्ड पशु का ही पंजीकरण करवा सकेगा। जिन पशुपालको के पशुओं की टैंगिग नहीं है, वे अपने पशुओं के टैंग लगवाये जाने के उपरान्त ही पंजीकरण करवा सकेगें। राज्य के गोपाल क्रेडिट कार्ड धारक पशुपालक, समस्त लखपती दीदी पशुपालकों तथा लॉटरी द्वारा चयनित जनआधार कार्ड धारक पशुपालक के अधिकतम 02 दुधारू गाय/02 दुधारू भैंस/01 दुधारू गाय एवं 01 दुधारू भैंस/10 बकरी/10 भेड/01 उष्ट्र वंश पशु का निःशुल्क बीमा किया जायेगा। इस योजनान्तर्गत उन्हीं पशुओं का बीमा करवाया जायेगा जिसका किसी अन्य पशु बीमा योजनान्तर्गत बीमा नही किया गया हो। मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना के अन्तर्गत पशुपालकों के देशी/संकर दूध देने वाले पशु यथा-गाय एवं भैंस, भारवाहक पशु-ऊँट / ऊँटनी एवं अन्य छोटे रोमन्थी पशु जैसे बकरी व भेड़ का एक वर्ष के लिये निःशुल्क बीमा किया जाना प्रस्तावित है।
उन्होने बताया कि भेड़ एवं बकरी की एक कैटल यूनिट में 10 पशु तथा दुधारू गाय/भैंस एवं ऊँट के संदर्भ में एक कैटल यूनिट में 01 पशु माना जायेगा। यदि किसी पशुपालक के पास 10 से कम भेड़ बकरी है तो ऐसी स्थिति में एक कैटल यूनिट में पशु संख्या की पात्रता कम की जाकर पशुपालक के पास उपलब्ध भेड़ बकरी का बीमा किया जा सकेगा।
पशु की कीमत का मूल्यांकन पशु के स्वास्थ्य, दुग्ध उत्पादन क्षमता, आयु, ब्यात् व नस्ल आदि के आधार पर प्रचलित बाजार मूल्य अनुसार पशु चिकित्सक, पशुपालक एवं बीमा प्रतिनिधि द्वारा आपसी सहमति से किया जावेगा तदापि बीमा के लिये 1 कैटल यूनिट पशु की अधिकतम कीमत 40 हजार रूपये ही होगी।
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