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Union Budget 2025 The Government Should Pay Attention To These Issues Rakesh Tikaits Big Statement On The Budget
सरकार को इन मुद्दों पर ध्यान देना चाहिए.., Budget को लेकर राकेश टिकैत का बड़ा बयान
India News (इंडिया न्यूज़),Union Budget 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार यानी 1 फरवरी को केंद्रीय बजट पेश कर दिया है। अब प्रतिक्रियाओं का दौर जारी है। इसी क्रम में भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने टिप्पणी की है। किसान नेता राकेश टिकैत ने उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में बजट पर कहा, […]
India News (इंडिया न्यूज़),Union Budget 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार यानी 1 फरवरी को केंद्रीय बजट पेश कर दिया है। अब प्रतिक्रियाओं का दौर जारी है। इसी क्रम में भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने टिप्पणी की है। किसान नेता राकेश टिकैत ने उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में बजट पर कहा, ‘सरकार को बिजली, चिकित्सा सुविधा और शिक्षा जैसी जरूरी सेवाओं पर ध्यान देना चाहिए। अब देखना यह है कि वे क्या कदम उठाते हैं। किसान मांग कर रहे हैं कि ब्याज दर को घटाकर 1% प्रति वर्ष किया जाए। पहले हमने इन मुद्दों को हल करने की योजनाओं के बारे में सुना था, लेकिन हमें पूरी जानकारी के लिए इंतजार करना होगा। किसानों को उचित फसल के दाम के साथ-साथ उचित मूल्य भी चाहिए।’
सांसद डिंपल यादव ने भी बजट पर प्रतिक्रिया दी
मैनपुरी की सांसद डिंपल यादव ने भी बजट पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि इस बजट में कुछ भी नया नहीं है। हमें कुंभ में मारे गए लोगों का डेटा चाहिए। वहीं, कांग्रेस ने केंद्रीय बजट में वित्त मंत्री द्वारा विकास के चार इंजन की बात को लेकर केंद्र सरकार पर कटाक्ष किया और कहा कि इतने इंजन हैं कि बजट पूरी तरह से पटरी से उतर गया है। शनिवार को अपने बजट भाषण में सीतारमण ने कहा कि कृषि, एमएसएमई (सूक्ष्म, मध्यम और लघु उद्यम), निवेश और निर्यात विकास के चार शक्तिशाली इंजन हैं।
कांग्रेस महासचिव और संचार प्रभारी जयराम रमेश ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, “वित्त मंत्री ने चार इंजनों की बात की – कृषि, एमएसएमई, निवेश और निर्यात। इतने सारे इंजन हैं कि बजट पूरी तरह से पटरी से उतर गया है।” एक अन्य पोस्ट में उन्होंने कहा, “जब डॉ. मनमोहन सिंह प्रधानमंत्री थे, तो अंतरराष्ट्रीय कंपनियां परमाणु क्षति के लिए नागरिक दायित्व अधिनियम, 2010 चाहती थीं, लेकिन अरुण जेटली के नेतृत्व वाली भाजपा ने अधिनियम को तोड़-मरोड़ कर पेश किया। अब ट्रम्प (अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प) को खुश करने के लिए वित्त मंत्री ने अधिनियम में संशोधन की घोषणा की है।