ADVERTISEMENT
होम / देश / IT Amendment : नए आईटी नियम पर मुंबई हाईकोर्ट ने की टिप्पणी, कहा- कानून का प्रभाव असंवैधानिक है तो उसे जाना ही होगा

IT Amendment : नए आईटी नियम पर मुंबई हाईकोर्ट ने की टिप्पणी, कहा- कानून का प्रभाव असंवैधानिक है तो उसे जाना ही होगा

BY: Shubham Pathak • LAST UPDATED : July 7, 2023, 1:54 am IST
ADVERTISEMENT

संबंधित खबरें

IT Amendment : नए आईटी नियम पर मुंबई हाईकोर्ट ने की टिप्पणी, कहा- कानून का प्रभाव असंवैधानिक है तो उसे जाना ही होगा

IT Amendment

India News (इंडिया न्यूज),IT Amendment: आईटी के नियम में बदलाव करने के केंद्र सरकार के फैसले पर बॉम्बे हाई कोर्ट में गुरुवार को अपनी राय देते हुए न्यायमूर्ति गौतम पटेल और न्यायमूर्ति नीला गोखले की खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान कहा कि चाहे इरादे कितने भी प्रशंसनीय या ऊंचे क्यों न हों, अगर इसका प्रभाव असंवैधानिक है तो इसे जाना ही होगा। आपको बता दें कि, स्टैंड-अप कॉमेडियन कुणाल कामरा, एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया और एसोसिएशन ऑफ इंडियन मैगजीन्स ने सरकार के इन नियमों के खिलाफ उच्च न्यायालय में याचिका दायर की और उन्हें मनमाना, असंवैधानिक बताया है। याचिका में कहा गया है कि, इन नियमों से नागरिकों के मौलिक अधिकारों पर डराने वाला प्रभाव होगा। बता दें कि, बॉम्बे हाई कोर्ट ने यह टिप्पणी हाल ही में संशोधित नए आईटी नियमों को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए किया है जो केंद्र सरकार को सोशल मीडिया में सरकार के खिलाफ फर्जी खबरों की पहचान करने का अधिकार देती है।

केंद्र सरकार ने नियम में किया था बदलाव

आपको याद हो तो बता दें कि, इस साल 6 अप्रैल को केंद्र सरकार ने आईटी नियम-2021 में कुछ संशोधनों की घोषणा की थी, जिसमें फर्जी, गलत या भ्रामक ऑनलाइन कंटेंट को फ्लैग करने के लिए एक फैक्ट चेक यूनिट का प्रावधान भी शामिल है। तीन याचिकाओं में अदालत से संशोधित नियमों को असंवैधानिक घोषित करने और सरकार को नियमों के तहत किसी भी व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई करने से रोकने का निर्देश देने की मांग की गई है। केंद्र सरकार ने पहले अदालत को आश्वासन दिया था कि वह 10 जुलाई तक फैक्ट चेक यूनिट को नोटिफाई नहीं करेगी।

यह नियम नागरिकों के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन- सीरवई

बता दें कि, गुरुवार को कुणाल कामरा की ओर से बॉम्बे हाई कोर्ट में पेश हुए वरिष्ठ वकील नवरोज सीरवई ने केंद्र सरकार के इस फैसले को चुनौती देते हुए कहा कि, संशोधित नियम वर्तमान सरकार का यह कहने का एक तरीका है, “यह मेरा रास्ता या राजमार्ग है। सीरवई ने कहा, “सरकार कह रही है कि वह यह सुनिश्चित करेगी कि सोशल मीडिया केवल वही कवर करे जो सरकार चाहती है और जिसे सरकार सच मानती है और यह सुनिश्चित करेगी कि बाकी सभी चीजों की निंदा की जाए।” उन्होंने कहा कि सरकार जनता के माता-पिता की भूमिका निभाना चाहती है। इसके बाद उन्होंने कहा कि, यह नियम नागरिकों के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन हैं और अदालत को इस पर विचार करना चाहिए कि क्या इसके प्रभाव असंवैधानिक हैं।

ये भी पढ़े

Tags:

Bombay HCBombay high courtfake newsIndia newsIT RulesIT Rules 2021Tech Diary Hindi News"Tech Diary News in HindiTechnology News in Hindi

Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.

ADVERTISEMENT

लेटेस्ट खबरें

ADVERTISEMENT