होम / 4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta नवरात्रि की तीसरी देवी मां चंद्रघंटा की उपासना के 4 मंत्र

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta नवरात्रि की तीसरी देवी मां चंद्रघंटा की उपासना के 4 मंत्र

India News Editor • LAST UPDATED : October 8, 2021, 1:58 pm IST

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta

नवरात्रि की तृतीया को होती है देवी चंद्रघंटा की उपासना। मां चंद्रघंटा का रूप बहुत ही सौम्य है। मां को सुगंधप्रिय है। उनका वाहन सिंह है। उनके दस हाथ हैं। हर हाथ में अलग-अलग शस्त्र हैं। वे आसुरी शक्तियों से रक्षा करती हैं।
मां चंद्रघंटा की आराधना करने वालों का अहंकार नष्ट होता है और उनको सौभाग्य, शांति और वैभव की प्राप्ति होती है।

सरल मंत्र : ॐ एं ह्रीं क्लीं
माता चंद्रघंटा का उपासना मंत्र

पिण्डजप्रवरारूढा चण्डकोपास्त्रकैयुर्ता।
प्रसादं तनुते मं चंद्रघण्टेति विश्रुता।।

महामंत्र – या देवी सर्वभूतेषु मां चंद्रघंटा रूपेण संस्थिता नमस्तस्यै नसस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:

ये मां का महामंत्र है जिसे पूजा पाठ के दौरान जपना होता है।

मां चंद्रघंटा का बीज मंत्र है- ऐं श्रीं शक्तयै नम:

मां दुर्गा की तीसरी शक्ति चंद्रघंटा की पावन कथा

पिण्डजप्रवरारूढ़ा चण्डकोपास्त्रकेयुर्ता।
प्रसादं तनुते मह्यं चंद्रघण्टेति विश्रुता॥

मां दुर्गा की तीसरी शक्ति हैं चंद्रघंटा। नवरात्रि में तीसरे दिन इसी देवी की पूजा-आराधना की जाती है। देवी का यह स्वरूप परम शांतिदायक और कल्याणकारी है। इसीलिए कहा जाता है कि हमें निरंतर उनके पवित्र विग्रह को ध्यान में रखकर साधना करना चाहिए। उनका ध्यान हमारे इहलोक और परलोक दोनों के लिए कल्याणकारी और सद्गति देने वाला है। इस देवी के मस्तक पर घंटे के आकार का आधा चंद्र है। इसीलिए इस देवी को चंद्रघंटा कहा गया है। इनके शरीर का रंग सोने के समान बहुत चमकीला है। इस देवी के दस हाथ हैं। वे खड्ग और अन्य अस्त्र-शस्त्र से विभूषित हैं। सिंह पर सवार इस देवी की मुद्रा युद्ध के लिए उद्धत रहने की है। इसके घंटे सी भयानक ध्वनि से अत्याचारी दानव-दैत्य और राक्षस कांपते रहते हैं। नवरात्रि में तीसरे दिन इसी देवी की पूजा का महत्व है। इस देवी की कृपा से साधक को अलौकिक वस्तुओं के दर्शन होते हैं। दिव्य सुगंधियों का अनुभव होता है और कई तरह की ध्वनियां सुनाईं देने लगती हैं। इन क्षणों में साधक को बहुत सावधान रहना चाहिए। इस देवी की आराधना से साधक में वीरता और निर्भयता के साथ ही सौम्यता और विनम्रता का विकास होता है। इसलिए हमें चाहिए कि मन, वचन और कर्म के साथ ही काया को विहित विधि-विधान के अनुसार परिशुद्ध-पवित्र करके चंद्रघंटा के शरणागत होकर उनकी उपासना-आराधना करना चाहिए। इससे सारे कष्टों से मुक्त होकर सहज ही परम पद के अधिकारी बन सकते हैं। यह देवी कल्याणकारी है।
माता चंद्रघंटा देवी की पूजा से साधक को होते हैं अलौकिक वस्तुओं के दर्शन
नवरात्रि में तीसरे दिन चंद्रघंटा देवी की पूजा का महत्व है। देवी की कृपा से साधक को अलौकिक वस्तुओं के दर्शन होते हैं। दिव्य सुगंधियों का अनुभव होता है और कई तरह की ध्वनियां सुनाईं देने लगती हैं। इन क्षणों में साधक को बहुत सावधान रहना चाहिए। इस देवी की आराधना से साधक में वीरता और निर्भयता के साथ ही सौम्यता और विनम्रता का विकास होता है।

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta माता का स्वरूप

माता चंद्रघंटा का रंग स्वर्ण के समान चमकीला है। माता के तीन नैत्र और दस हाथ हैं। इनके कर-कमल गदा, बाण, धनुष, त्रिशूल, खड्ग, खप्पर, चक्र और अस्त्र-शस्त्र हैं, अग्नि जैसे वर्ण वाली, ज्ञान से जगमगाने वाली दीप्तिमान देवी हैं चंद्रघंटा। ये शेर पर आरूढ़ है तथा युद्ध में लड़ने के लिए उन्मुख है।

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta आराधना महत्व

मां चंद्रघंटा की कृपा से साधक के समस्त पाप व बाधाएं खत्म हो जाती हैं। मां चंद्रघंटा की कृपा से साधक पराक्रमी व निर्भय हो जाता है। मां चंद्रघंटा प्रेतबाधा से भी रक्षा करती है, इनकी आराधना से वीरता-निर्भयता के साथ ही सौम्यता एवं विनम्रता का विकास होकर मुख, नेत्र तथा संपूर्ण काया का भी विकास होता है। मां चंद्रघंटा की उपासना से मनुष्य समस्त सांसारिक कष्टों से मुक्ति पाता है। तृतीया के दिन भगवती की पूजा में दूध की प्रधानता होनी चाहिए और पूजन के उपरांत वह दूध ब्राह्मण को देना उचित माना जाता है। इस दिन सिंदूर लगाने का भी रिवाज है।

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta किस रंग के पहनें कपड़े और क्या चढ़ाएं प्रसाद:

देवी चंद्रघंटा को प्रसन्न करने के लिए श्रद्धालुओं को भूरे रंग के कपड़े पहनने चाहिए। मां चंद्रघंटा को अपना वाहन सिंह बहुत प्रिय है और इसीलिए गोल्डन रंग के कपड़े पहनना भी शुभ है। इसके अलावा मां सफेद चीज का भोग जैसे दूध या खीर का भोग लगाना चाहिए। इसके अलावा माता चंद्रघंटा को शहद का भोग भी लगाया जाता है।

4 Mantras to Worship the third Goddess of Navratri, Mother Chandraghanta

आरती

जय मां चंद्रघंटा सुख धाम
पूर्ण कीजो मेरे काम
चंद्र समान तू शीतल दाती
चंद्र तेज किरणों में समाती
क्रोध को शांत बनाने वाली
मीठे बोल सिखाने वाली
मन की मालक मन भाती हो
चंद्र घंटा तुम वरदाती हो
सुंदर भाव को लाने वाली
हर संकट मे बचाने वाली
हर बुधवार जो तुझे ध्याये
श्रद्धा सहित जो विनय सुनाय
मूर्ति चंद्र आकार बनाएं
सन्मुख घी की ज्योत जलाएं
शीश झुका कहे मन की बाता
पूर्ण आस करो जगदाता
कांची पुर स्थान तुम्हारा
करनाटिका में मान तुम्हारा
नाम तेरा रटू महारानी
‘भक्त’ की रक्षा करो भवानी

Read More : 3000 किलो हेरोइन मामले में एनआईए ने अमृतसर में पूर्व अकाली नेता के घर ली तलाशी

Connect With Us : Twitter Facebook

Get Current Updates on News India, India News, News India sports, News India Health along with News India Entertainment, India Lok Sabha Election and Headlines from India and around the world.

ADVERTISEMENT

लेटेस्ट खबरें

Saudi Arab: इस इंफ्लुएंसर को सुनाई गई 11 साल की सजा, वजह जानकर हो जाएंगे हैरान-Indianews
Lok Sabha Election: कांग्रेस के लोकसभा उम्मीदवार के भाजपा में शामिल होने पर राजनाथ सिंह का बयान, जानें क्या कहा-Indianews
Delhi: दिल्ली में इंसानियत हुई शर्मसार, दो बच्चों की हत्या कर पिता फरार-Indianews
French: फ्रांस में महिला के साथ फ्रांसीसी राजनेता ने किया कुछ ऐसा, जानें पूरा मामला-Indianews
8 Chiranjeevi: पृथ्वी पर अंत तक रहेंगे जीवित ये 8 चिरंजीवी, जाने कैसे मिला उन्हें ये वरदान – Indianews
Gurugram: गुरुग्राम पुलिस ने सैक्स रैकेट का किया भंडाफोड़, व्हाट्सएप के जरिए हो रहा था धंधा-Indianews
Hardeep Nijjar Killing: कनाडा में तीन भारतीय की गिरफ्तारी के बाद गुस्सा में आएं जयशंकर, जानें क्या कहा-Indianews
ADVERTISEMENT