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Inhaled Vaccine: क्या कोरोना के खिलाफ होगी कारगर साबित?

Suman Tiwari • LAST UPDATED : February 14, 2022, 11:43 am IST

Inhaled Vaccine: क्या कोरोना के खिलाफ होगी कारगर साबित?

इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
हाल ही में कनाडा वैज्ञानिकों ने कोरोना महामारी को लेकर एक वैक्सीन (इनहेल्ड) तैयार की है। (Inhaled Vaccine Corona) रिसर्चर्स में पाया गया है कि इनहेल्ड वैक्सीन कोरोना वायरस के सभी वेरिएंट्स के खिलाफ काफी लंबे वक्त तक सुरक्षा दे सकती है। आइए जानते हैं क्या है नई इनहेल्ड वैक्सीन, क्या ये कोरोना के खिलाफ होगी कारगर।

क्या है, कैसे करती है काम ”Inhaled Vaccine”?

  • स्टडी अनुसार इनहेल्ड वैक्सीन एक ऐसी वैक्सीन है जिसे मानव सांसों के जरिए लेता है। इनहेल्ड वैक्सीन जोर से सांसों को अंदर की तरफ खींचकर ली जाती है। इसे एरोसोल वैक्सीन भी कहा जाता है। इस वैक्सीन को कनाडा की मैकमास्टर यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने तैयार किया है।
  • कोरोना की ज्यादातर वैक्सीन इंट्रावेनस हैं, यानी इन्हें सुई के जरिए नसों में दिया जाता है। वहीं इनहेल्ड वैक्सीन में मानव मुंह के जरिए सांसों को अंदर खींचकर वैक्सीन लेता है। ट्रैडीशनल वैक्सीन के उलट इनहेल्ड वैक्सीन सीधे फेफड़ों और ऊपरी श्वसन अंगों जैसे-गले को टारगेट करती है। वायरस श्वसन अंगों के जरिए ही सबसे पहले शरीर में प्रवेश करते हैं।

Inhaled Vaccine

कितनी असरदार है Inhaled Vaccine?

बताया जा रहा है कि कोरोना की पहली (Inhaled Vaccine) को चीन ने नवंबर 2021 में लॉन्च किया था। कनाडा की रिसर्चर्स अनुसार इनहेल्ड वैक्सीन के फेफेड़ों और ऊपरी श्वसन अंगों को टारगेट करने की वजह से ये ज्यादा प्रभावशाली है और मौजूदा वैक्सीन की तुलना में इम्यून रिस्पांस जल्द बनाती है। ये स्टडी एनिमल मॉडल पर की गई थी। इस वैक्सीन का अब उन स्वस्थ वयस्कों पर फेज-वन का क्लिनिकल ट्रायल चल रहा है, जो कोरोना वैक्सीन के दो डोज ले चुके हैं।

Inhaled की खासियत क्या है? (What is the specialty of Inhaled Vaccine)

इनहेल्ड वैक्सीन मौजूदा वैक्सीन की तुलना में इम्युन रिस्पांस जल्दी तैयार करती है। ये वैक्सीन एस प्रोटीन सहित वायरस के तीन हिस्सों को टारगेट करती है। मौजूदा वैक्सीन केवल वायरस के एस प्रोटीन को टारगेट करने का काम करती है। वायरस का स्पाइक प्रोटीन ही सबसे अधिक म्यूटेट होता है। इनहेल्ड वैक्सीन से शरीर में प्रशिक्षित जन्मजात इम्यूनिटी बनती है। मौजूदा वैक्सीन में प्रशिक्षित जन्मजात इम्यूनिटी का अभाव रहता है।

कोरोना की अलग-अलग वैक्सीन कौन सी हैं?

जैसा कि आप देख रहें हैं जब से कोरोना महामारी शुरू हुई तब से अभी तक जितनी भी वैक्सीन बनी उनमें ज्यादातर सुई वाली वैक्सीन हैं। वहीं कोरोना की दो इनहेल्ड वैक्सीन बन चुकी हैं। भारत बायोटेक बना रही है नेजल वैक्सीन। नेजल वैक्सीन में नाक में डाली जाती है दवा। जयकोवा-डी ने बनाई है कोरोना की निडिल फ्री वैक्सीन। निडिल फ्री वैक्सीन में जेट एप्लीकेटर या इंजेक्टर का प्रयोग किया जाता है।

क्या वायरल वेक्टर वैक्सीन होगी Inhaled Vaccine?

रिसर्चर्स ने इस (Inhaled Vaccine) को दो एडिनोवायरस वायरल वेक्टर प्लेटफॉर्म से बनाया है। एडिनोवायरस वायरल वेक्टर के रूप में काम करते हैं जो बिना कोई बीमारी पैदा किए सीधे फेफड़ों तक वैक्सीन पहुंचा सकते हैं। रिसर्चर्स का कहना है कि दोनों तरह की इनहेल्ड वैक्सीन कोरोना के सभी तरह के बेहद संक्रामक वेरिएंट्स के खिलाफ कारगर रहीं।

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