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Vomiting Diarrhea Are The New Symptoms Of Kovid How To Know Whether Food Poisoning Has Happened Or Corona
जानें, उल्टी-दस्त है तो कैसे पता करें कि फूड पॉइजनिंग है या कोरोना
इंडिया न्यूज: इस मौसम में कोरोना संक्रमण के अलावा कभी तेज धूप, कभी लू से लोग परेशान हैं। ऐसे में खानपान बहुत सोच समझकर करना चाहिए। क्योंकि दूषित भोजन फूड प्वाइजनिंग की समस्या का कारण भी बन सकता है। वहीं जरा सी लापरवाही आपकी सेहत पर भारी पड़ सकती है। माना जा रहा है कि […]
इंडिया न्यूज: इस मौसम में कोरोना संक्रमण के अलावा कभी तेज धूप, कभी लू से लोग परेशान हैं। ऐसे में खानपान बहुत सोच समझकर करना चाहिए। क्योंकि दूषित भोजन फूड प्वाइजनिंग की समस्या का कारण भी बन सकता है। वहीं जरा सी लापरवाही आपकी सेहत पर भारी पड़ सकती है। माना जा रहा है कि उल्टी-दस्त कोरोना के नए लक्षण हैं। तो चलिए समझते हैं कि उल्टी-दस्त की शिकायत होने पर कोरोना है या फूड प्वाइजनिंग।
क्या उल्टी-दस्त कोरोना के नए लक्षण हैं?
डॉ. प्रदीप भट्टाचार्य के मुताबिक इस मौसम में जिन लोगों को उल्टी-दस्त की दिक्कत हो रही है और वो कोविड पॉजिटिव हैं, इसके लिए सिर्फ एक वायरस जिम्मेदार नहीं है, बल्कि ये मिक्स वायरल इंफेक्शन है। कुछ लोगों को इन लक्षणों के बाद डायरिया हो रहा है तो कुछ को कोरोना। लेकिन स्पष्ट रूप से ये नहीं कहा जा सकता है कि उल्टी-दस्त कोरोना के नए लक्षणों में से एक हैं। इसके बावजूद इस लक्षण को हल्के में लेने की जरूरत नहीं है।
गर्मी में फूड पॉइजनिंग क्यों होती है?
गर्मी के मौसम में फूड पॉइजनिंग एक आम बीमारी है। इस समय खाना आसानी से खराब हो जाता है और कई बार लोग इसे खा लेते हैं। गलत खानपान, बासी खाना या खराब खाना खाने के कारण ही आपको फूड पॉइजनिंग की समस्या हो सकती है।
फूड पॉइजनिंग से पेट खराब, उल्टी और दस्त हो सकते हैं। यह समस्या बच्चों में ज्यादा होती है। अलग-अलग तरह के नुकसान पहुंचाने वाली कई सूक्ष्मजीव होते हैं, जो शरीर में समस्याएं पैदा कर सकते हैं। इनमें बैक्टीरिया, वायरस, और फंगस शामिल हैं। खाना जब खराब होता है तो ये कीटाणु इसमें पनपने लगते हैं। जब आप ऐसे खराब खाने को खाते हैं तो ये शरीर में जाते हैं और घंटों बाद उल्टी, दस्त और बुखार जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
फूड पॉइजनिंग के लक्षण क्या?
जी मिचलाना, पेट में ऐंठन, उल्टी, दस्त, बुखार, कमजोरी, सिरदर्द, भूख में कमी आना।
कैसे पता चलेगा कोरोना है या फूड पॉइजनिंग?
अगर किसी को उल्टी-दस्त लग गए हैं तो उसे डॉक्टर के पास जाना चाहिए। फिर भी, मन में शंका है कि उसे कोरोना है या नहीं, तो वो अपना कोविड टेस्ट करा ले। इससे क्लियर हो जाएगा उसे फूड पॉइजनिंग है या कोरोना।
फूड पॉइजनिंग को ठीक करने के घरेलु उपाय
तुलसी: पेट में फूड पाइजनिंग के चलते जो परेशानियां होती हैं। उनसे राहत दिलाने में तुलसी बहुत मदद करती है। इसमें मौजूद रोगाणुरोधी गुण सूक्ष्म जीवों से लड़ते हैं। आप तुलसी का इस्तेमाल कई तरीके से कर सकते हैं। एक कटोरी दही लीजिए और उसमे तुलसी की पत्तियां, काली मिर्च और थोड़ा सा नमक डालें। दिन में दो बार इसका सेवन करें, जब तक इसके लक्षण समाप्त नही हो जाते हैं। वहीं तुलसी की पत्तियों को पानी और चाय की पत्ती के साथ उबालकर काढ़ा बना लें और दिन में दो बार लें। आप चाहें तो हल्की सी शक्कर भी डाल सकते हैं।
नींबू: नींबू में एंटी-इंफ्लेमेटरी, एंटीबैक्टीरियल और एंटीवायरल गुण मौजूद होते हैं। इसलिए नींबू के सेवन से फूड पाइजनिंग वाले बैक्टीरिया मर जाते हैं। इसलिए खाली पेट आपको नींबू पानी पीना चाहिए। आप इसे दिन में दो बार भी पी सकते हैं।
सेब का सिरका: सेब के सिरके में एक ऐसा अम्ल होता है जो शरीर के मेटाबोलिज्म रेट को बढ़ाता है। इस प्रकार यह फूड पाइजनिंग के कई लक्षणों को दूर कर सकता है। यह गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल लाईनिंग को शांत कर जीवाणुओं को मारता है, इससे आपको तत्काल राहत मिलती है। दो चम्मच सेब के सिरके को एक कप गरम पानी में मिलाएं। इसे खाना खाने से पहले पी लें। आप चाहें तो दो से तीन चम्मच सेब के सिरके के पी सकते हैं।
दही: दही एक प्रकार का एंटीबायोटिक है इसलिए फूड पाइजनिंग इलाज के लिए आपको इसे अपने आहार में शामिल करना चाहिए। आप दही में पानी और शक्कर डालकर इसे पतला घोट कर लस्सी के समान पी सकते हैं। दही में थोड़ा सा काला नमक डालकर इसे खा लेंगे तब भी फायदा मिलेगा।
लहसुन: में भी एंटी फंगल गुण होते हैं। इसलिए इसे खाने से पेट में यदि दर्द हो, तो वो दूर हो जाता है। यह दस्त जैसी समस्याओं को भी दूर करता है। सुबह खाली पेट आप लहसुन की कच्ची कलियां पानी के साथ खा लें। यह हाई बीपी में भी फायदेमंद है। आप चाहे तो इसका रस बनाकर भी पी सकते हैं। सोयाबीन का तेल गरम करें, उस वक्त उसमें लहसुन की कलियां डाल दें। इस तेल से खाना खाने के बाद मालिश करने से आपको फायदा मिलता है।