India News (इंडिया न्यूज), CM Mohan Yadav: कुंभ मेले में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है, जिससे प्रयागराज में वाहनों का दबाव तेजी से बढ़ रहा है। हालात को संभालने के लिए उत्तर प्रदेश से सटे राज्यों में वाहनों को रोका जा रहा है ताकि यातायात को नियंत्रित किया जा सके।
मध्य प्रदेश सरकार एक्शन मोड में
श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री *मोहन यादव* भी सतर्क हो गए हैं। सोमवार को उन्होंने यूपी सीमा से जुड़े जिलों के अधिकारियों की आपात बैठक बुलाई और मौजूदा स्थिति की समीक्षा की। माना जा रहा है कि एमपी सरकार तीर्थयात्रियों के लिए कुछ *विशेष इंतजाम* करने जा रही है। सीएम मोहन यादव ने प्रदेश में भोजन, पानी, चिकित्सा और विश्राम की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बीजेपी कार्यकर्ताओं और जनप्रतिनिधियों से अपील की कि वे प्रयागराज जा रहे श्रद्धालुओं की हरसंभव सहायता करें। साथ ही, तीर्थ यात्रियों की सेवा में लगे संगठनों का भी अभिनंदन किया।
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कांग्रेस ने भी की मदद की अपील
मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने भी कांग्रेस कार्यकर्ताओं से आग्रह किया है कि वे कुंभ मेले में जा रहे और लौट रहे श्रद्धालुओं की खाने-पीने और जाम की समस्या को दूर करने में मदद करें। उन्होंने कहा कि विंध्य, चित्रकूट, कटनी, जबलपुर सहित अन्य मार्गों पर 50 किलोमीटर तक लंबा जाम लगा हुआ है, जिससे यात्री परेशान हो रहे हैं।
प्रशासन लगातार सतर्क, लोगों से धैर्य रखने की अपील
यूपी और एमपी प्रशासन श्रद्धालुओं से धैर्य रखने और अनावश्यक यात्रा न करने की अपील कर रहा है। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए सीमावर्ती इलाकों में पुलिस और प्रशासन अलर्ट पर हैं। भारी भीड़ के बीच विभिन्न सामाजिक संगठन और स्थानीय प्रशासन मिलकर यात्रियों को राहत देने का प्रयास कर रहे हैं। हर संभव कोशिश की जा रही है कि श्रद्धालु कुंभ का आनंद बिना किसी परेशानी के उठा सकें।
यूपी-एमपी सरकारों की कोशिश, सुगम हो तीर्थयात्रा
मुख्यमंत्री मोहन यादव और योगी आदित्यनाथ की सरकारें मिलकर कुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं की सुविधाओं को प्राथमिकता दे रही हैं। व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने के लिए सुरक्षा बल, प्रशासन और स्वयंसेवी संगठनों को लगातार निर्देश दिए जा रहे हैं। इस बीच, श्रद्धालुओं को सलाह दी गई है कि यात्रा के दौरान संभलकर चलें, यातायात नियमों का पालन करें और प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करें, ताकि यह आध्यात्मिक यात्रा सुखद और सुरक्षित बन सके।